New Delhi : चीन में चल रहे ब्रिक्स सम्मेलन में थोड़ी देर पहले प्रधानमंत्री मोदी और रूस के राष्ट्रपति ब्लादीमीर पुतिन की मुलाकात हुई है। राष्ट्रपति पुतिन ने चीन के राष्ट्रपति से मिलने से पहले मोदी से मुलाकात की है।
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इससे पहले सम्मेलन के दौरान ब्रिक्स देशों ने चीन की चालाकी को फेल कर दिया। दरअसल चीन आतंकवाद के मुद्दे पर बात नहीं करना चाहता था लेकिन पीएम मोदी ने जैसे ही आतंकवाद का मुद्दा उठाया सारे ब्रिक्स देश पीएम मोदी से सहमत हो गए। वहीं, कार्यक्रम स्थल पर ब्रिक्स देशों का झंडा भी लहराया गया है। सबसे पहले और सबसे ऊंचा भारत का तिरंगा लहराया गया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ब्रिक्स सम्मेलन के लिए चीन में हैं। ब्रिक्स मंच पर मोदी के आते ही सारे नेताओं ने खड़े होकर उनका स्वागत किया। पीएम ने ब्रिक्स बैठक में बोलते हुए कहा कि सभी देशों में शांति के लिए ब्रिक्स देशों का एकजुट रहना जरूरी है।
इससे पहले चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने पीएम मोदी का औपचारिक स्वागत किया। बता दें कि ये ब्रिक्स का 9वां सम्मेलन है। ब्रिक्स में ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका देश शामिल हैं।
ब्रिक्स बैठक को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि ब्रिक्स देशों को आपसी सहयोग बढ़ाने की जरूरत है। पीएम मोदी ने कहा कि ब्रिक्स के पांचों देश अभी समान स्तर पर हैं। विश्व में शांति के लिए सहयोग जरूरी है, एकजुट रहने पर ही शांति और विकास होगा।
पीएम ने कहा कि हमने अपने देश में काले धन के खिलाफ जंग छेड़ी है। हमारा लक्ष्य स्मार्ट सिटी, स्वास्थय, विकास, शिक्षा में सुधार लाना है। ब्रिक्स बैंक ने कर्ज देना शुरू कर दिया है, जिसका सही उपयोग होना चाहिए। मोदी ने कहा कि हमारा देश युवा है यही हमारी ताकत है। हमने गरीबी से लड़ने के लिए सफाई का अभियान छेड़ा है। पीएम ने कहा कि ब्रिक्स की मजबूत पार्टनरशिप से ही विकास होगा।
शी जिनपिंग ने कहा कि दुनिया में जो भी मुद्दे इस समय चल रहे हैं, वह हमारे हिस्सेदारी के बिना निपट नहीं सकते हैं। चीनी राष्ट्रपति ने ऐलान किया कि वह ब्रिक्स देशों में बिजनेस ऑपरेशन, विकास को बढ़ावा देने के लिए 4 मिलियन यूएस डॉलर की मदद करेंगे।
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