प्रदेश में विद्युत विभाग का सबसे बड़ा बकाएदार है इलाहाबाद विश्वविद्यालय, आरसी कटी

प्रदेश के सबसे बड़े बिजली के बकाएदार इलाहाबाद विश्वविद्यालय की आरसी कट गई है। विश्वविद्यालय पर लगभग साढ़े सात करोड़ रुपये बिजली का बिल बकाया है। यूपीपीसीएल के चेयरमैन आलोक कुमार ने इस बाबत डीएम और एसएसपी से भी बात की है। तीन दिन के अंदर बिल नहीं जमा किया गया तो विश्वविद्यालय की बिजली काट दी जाएगी और खाता भी सीज कर दिया जाएगा।

2013 से विश्वविद्यालय बिजली बिल का भुगतान नहीं कर रहा

टैगोर टाउन के सहायक अभियंता विजय कुमार तिवारी के मुताबिक विश्वविद्यालय को 24 घंटे बिजली की आपूर्ति दी जाती है। वर्ष 2013 से विश्वविद्यालय बिजली बिल का भुगतान नहीं कर रहा है। वर्तमान में लगभग 7.5 करोड़ रुपये का बिल बकाया है। विश्वविद्यालय मौजूदा समय में प्रदेश का सबसे बड़ा बकाएदार बन गया है। ऐसे में उच्चाधिकरियों को रिपोर्ट भेजी गई है। स्वयं यूपीपीसीएल के चेयरमैन ने इसे गंभीरता से लिया। उन्होंने डीएम तथा एसएसपी से वार्ता कर तीन दिन के अंदर बिजली का बिल नहीं जमा होने पर कनेक्शन काटने को कहा है। मंगलवार को विश्वविद्यालय की आरसी कट गई। अब बैंक का खाता सीज कराया जाएगा। तीन दिन के अंदर बिजली का बकाया नहीं जमा होता तो कनेक्शन काट दिया जाएगा।

33 उपभोक्ताओं की बिजली काटी

दूसरी ओर सरचार्ज समाधान योजना के तहत भी बकाया न जमा करने वाले टैगोर टाउन के 33 लोगों की बिजली काट दी गई। बिजली काटे जाने के बाद अपने से कनेक्शन जोडऩे वाले तीन लोगों के खिलाफ जार्जटाउन थाने में मुकदमा भी दर्ज कराया गया है।

सरचार्ज समाधान से जमा कराए 205 करोड़

विद्युत विभाग द्वारा चलाए गई सरचार्ज समाधान योजना के तहत मंडल भर से 205 करोड़ रुपये जमा कराए गए। इसमें सबसे ज्यादा ग्रामीण इलाके से 182 करोड़ रुपये जमा हुए, जबकि शहरी क्षेत्र से 23.5 करोड़ रुपये का कलेक्शन हुआ। एक जनवरी से विभाग की ओर से सरचार्ज समाधान योजना लागू की गई थी। योजना 31 मार्च तक के लिए थी। अधीक्षण अभियंता विद्युत वितरण मंडल प्रथम राकेश कुमार ने बताया कि अब इसे बढ़ाकर चार अप्रैल कर दिया गया है।

कहते हैं बिजली अधिकारी

अधिशासी अभियंता तारकेश्वर पांडेय ने बताया कि इस दौरान एक लाख 19 हजार उपभोक्ताओं ने पंजीयन कराया जबकि एक लाख दो हजार ने पैसा जमा किया। उन्होंने बताया कि जो लोग बकाया धनराशि नहीं जमा करेंगे तो रजिस्ट्रेशन के समय जमा पैसे में दो हजार रुपये काट लिए जाएंगे। इसके अलावा जो ब्याज माफ हुई थी, उसे पुन: जोड़ दिया जाएगा।

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com