यह तो हम सभी जानते हैं हरी-भरी जगहों पर टहलने और घूमने के कई स्वास्थ्य लाभ हैं। मगर अब एक नए अध्ययन में सामने आया है कि जो लोग प्रकृति के नजदीक रहते हैं उनमें मानसिक तनाव का स्तर बेहद कम हो जाता है। ब्रिटेन के शोधकर्ताओं ने अपने निष्कर्षों में कहा है कि आठ से 12 हफ्ते प्रकृति के थोड़े समय के लिए भी संपर्क एंजाइटी के स्तर को कम करके मूड बेहतर बनाने में मददगार है।
यह अध्ययन इंग्लैंड के यॉर्क विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं द्वारा किया गया है। उन्होंने कहा है कि अगर मन को प्रसन्न रखना है तो प्रकृति के बीच समय बिताएं। हरी-भरी प्राकृतिक जगहों पर समय बिताने के दौरान आप बागवानी और व्यायाम करते हैं तो इससे तनाव और बेचैनी दूर होती है। इसके साथ ही इंसान मानसिक समस्याओं से दूर रहता है।
प्रकृति के मानसिक सेहत पर प्रभाव की जांच: दरअसल, शोधकर्ताओं ने यह अध्ययन प्रकृति के बीच समय बिताने और बागवानी या व्यायाम जैसी गतिविधियों का इंसान की मानसिक सेहत पर क्या प्रभाव पड़ता है। अध्ययन के परिणामों में सामने आया कि महज आठ से 12 हफ्ते तक प्रकृति का संपर्क आपके दिमाग के लिए बेहतर हो सकता है। अगर इस अवधि के बीच इंसान 20 से 90 मिनट प्रतिदिन तक प्राकृतिक नजारों के बीच बिताता है तो मानसिक तौर पर वो बेहतर महसूस करता है।
मानसिक सेहत को सुधारने में मदद: इस अध्ययन का नेतृत्व करने वाले प्रमुख शोधकर्ता डॉक्टर पीटर कॉवेंट्री ने बताया कि हम जानते हैं कि प्रकृति के बीच कुछ समय बिताना सेहत के लिए अच्छा होता है। मगर हमारे अध्ययन ने यह पुष्टि की है यह न केवल शारीरिक बल्कि मानसिक सेहत के लिए भी उतना ही फायदेमंद है। हरी-भरी जगहों पर रोजाना बागवानी और व्यायाम करने से मन तरोताजा रहतना है और तनाव से राहत मिलती है। यह अध्ययन एसएसएम पॉपुलेशन हेल्थ जर्नल में प्रकाशित किया गया है।
सामूहिक गतिविधियों से ज्यादा लाभ
प्रमुख शोधकर्ता पीटर ने परिणामों में जानकारी देते हुए कहा कि अध्ययन में खास बात यह सामने आई है कि अगर लोग हरी-भरी जगहों पर अकेले की बजाया समूह विभिन्न गतिविधियां करते हैं तो इससे उन्हें और भी अधिक फायदा पहुंचता है। उन्होंने कहा कि अध्ययन इस बात को सामने लाता है कि अगर लोग खुद को स्वस्थ रखना चाहते हैं तो इसके लिए उन्हें सिर्फ कुछ समय प्रकृति के साथ बिताना जरूरी है। यह निश्चित तौर पर स्वास्थ्य के लिए एक तरह का निवेश होता है, जिसका फायदा न केवल शारीरिक बल्कि मानसिक तौर पर भी मिलता है।
बच्चों के बेहतर स्वास्थ्य की कुंजी
पुर्व अध्ययनों में भी प्रकृति के संपर्क के अनगिनत स्वास्थ्य लाभ दर्शाए गए हैं। इसी दिशा में किए गए हालिया अध्ययन में करीब 300 पूर्व अध्ययनों की समीक्षा करने के बाद शोधकर्ताओं ने दावा किया कि न केवल वयस्क और बजुर्गों, बल्कि बच्चों के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी रोजाना कुछ समय के लिए प्रकृति से संपर्क बेहद जरूरी है। शोधकर्ताओं ने कहा कि अध्ययन के अगले पड़ाव में प्रकृति के लंबी अधि के फायदों का पता लगाने की कोशिश की जाएगी।