पीयूष गोयल का दावा: मुंबई की 1000 एकड़ जमीन पर 50 हजार घर बनेंगे

मुंबई के दहिसर के लोगों के लिए राहत भरी खबर है। यहां लगा एएआई का हाई-फ्रीक्वेंसी रडार अब गोराई शिफ्ट किया जाएगा। इससे करीब 1,000 एकड़ जमीन हाउसिंग प्रोजेक्ट्स के लिए खाली होगी, जिसपर करीब 50 हजार घर बनेंगे।

मुंबई के दहिसर इलाके के लोगों के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है। भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (एएआई) का हाई-फ्रीक्वेंसी रडार, जो अभी दहिसर में लगा है, उसे अब गोराई में शिफ्ट किया जाएगा। इससे दहिसर में सैकड़ों एकड़ जमीन खाली होगी, जहां किफायती (अफोर्डेबल) हाउसिंग प्रोजेक्ट शुरू किए जा सकेंगे।

यह फैसला नागरिक उड्डयन मंत्रालय, महाराष्ट्र सरकार, एएआई और अन्य संबंधित विभागों की बैठक के बाद लिया गया। इस बात की जानकारी नागरिक उड्डयन मंत्री के राममोहन नायडू ने दी। उन्होंन बताया कि रडार को शिफ्ट करने के लिए कैबिनेट से मंजूरी ली जाएगी, ताकि जल्द से जल्द निर्माण कार्य शुरू हो सके।

बनेंगे 50 हजार से ज्यादा घर
जमीनों पर बनने वाले घर को लेकर केंद्रीय मंत्री और उत्तर मुंबई के सांसद पीयूष गोयल ने कहा कि अगले पांच साल में करीब 50,000 घर बनाए या फिर पुराने घरों का पुनर्विकास किया जाएगा। इससे लोगों को पक्के घर, बुनियादी सुविधाएं मिलेंगी और रोजगार के नए अवसर भी पैदा होंगे। उन्होंने कहा कि यह फैसला कई वर्षों की कोशिशों और केंद्र व राज्य सरकार के सहयोग से संभव हो पाया है। इससे दहिसर की पहचान अब ‘आखिरी उपनगर’ के बजाय तेजी से विकसित होते क्षेत्र के रूप में होगी।

1,000 एकड़ जमीन होगी उपलब्ध
नागरिक उड्डयन मंत्री नायडू ने आगे कहा कि रडार हटने से दहिसर में करीब 1,000 एकड़ जमीन (6 किलोमीटर क्षेत्र में) हाउसिंग प्रोजेक्ट्स के लिए उपलब्ध होगी। इससे दहिसर के लोगों का अपने घर का सपना पूरा होगा और यह इलाका आसान और बेहतर जीवन का केंद्र बनेगा।

रडार की वजह से रुक रहा था विकास?
बता दें कि दहिसर और जुहू में लगे रडार की वजह से इमारतों की ऊंचाई पर रोक लगी हुई थी। इससे आस-पास के कई शहरी विकास परियोजनाएं अटकी हुई थीं और लाखों लोग जर्जर इमारतों में रहने को मजबूर थे। इससे पहले महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने विधानसभा में बताया कि राज्य सरकार ने दहिसर और जुहू दोनों जगहों से रडार हटाने का फैसला किया है। दहिसर का रडार गोराई शिफ्ट होगा और इसका पूरा खर्च राज्य सरकार उठाएगी, साथ ही केंद्र सरकार को बिना किसी कीमत के जमीन भी दी जाएगी।

जुहू रडार पर भी काम जारी
गौरतलब है कि मामले में राज्य सरकार ने जुहू (डीएन नगर) के रडार को शिफ्ट करने के लिए भी एक वैकल्पिक जगह सुझाई है। तकनीकी जांच पूरी होने के बाद वहां भी रडार हटाने की प्रक्रिया शुरू होगी। इसके बाद जुहू इलाके में भी रीडेवलपमेंट आसान हो जाएगा। कुल मिलाकर अब यह कहना गलत नहीं होगा कि फैसला हाउसिंग, रोजगार और शहरी विकास के लिहाज से मुंबई के लिए एक बड़ा और ऐतिहासिक कदम माना जा रहा है।

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