राजधानी में ट्रैफिक जाम की समस्या से निजात दिलाने के लिए लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) ने 8 बड़ी परियोजनाओं पर काम शुरू कर दिया है। इन परियोजनाओं की व्यवहार्यता रिपोर्ट और विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करने के लिए निविदा प्रक्रिया जारी है।
विभाग ने इसके लिए लगभग 14.6 करोड़ की परामर्श सेवाओं की लागत तय की है। निर्माण कार्य शुरू करने से पहले सभी तकनीकी, पर्यावरणीय और सामाजिक पहलुओं का गहन अध्ययन कराया जाएगा।
बताया जा रहा है कि व्यवहार्यता अध्ययन में यह देखा जाएगा कि कहां पर फ्लाईओवर या अंडरपास बनाना है। पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों ने बताया कि आईटीओ पर अंडरपास या फ्लाईओवर के निर्माण की संभावना तलाशी जा रही है साथ ही आईजीआई टर्मिनल- 1 पर फ्लाईओवर और इनर रिंग रोड पर एलिवेटेड रोड बनाने की तैयारी है। आईटीओ पर सबसे बड़ा इंटरसेक्शन (चौराहा) बनाने की भी तैयारी है। यहां सभी सड़कें, गली और यातायात के साधनों को आपस में जोड़ा जाएगा।
आईटीओ, आईजीआई पर वाहनों का दबाव लगातार बढ़ रहा है। देशबंधु गुप्ता मार्ग से अजमेरी गेट तक एलिवेटेड रोड बनाई जाएगी। नानकसर गुरुद्वारा से दिल्ली-यूपी सीमा तक करीब छह किलोमीटर की एलिवेटेड रोड के निर्माण की भी तैयारी है। इससे ट्रॉनिका सिटी (गाजियाबाद) की तरफ आने-जाने वालों को राहत मिलेगी।
अधिकारियों ने बताया कि इन परियोजनाओं की डीपीआर तैयार करने में करीब 9 से 12 महीने लग सकते हैं। निर्माण की वास्तविक लागत का अनुमान 3,500 से 5,000 करोड़ रुपये तक हो सकता है।