दिल्ली में शराब के दाम कम होंगे. केजरीवाल सरकार ने 70% कोरोना सेस वापस लेने का फैसला किया है. सरकार का मानना है कि यूपी-हरियाणा बॉर्डर खुलने से शराब तस्करी को बढ़ावा मिलेगा.इसलिए ये निर्णय लिया गया है. हालांकि इस सबंध में अभी औपचारिक अधिसूचना का इंतजार है.
बता दें कि लॉकडाउन 3.0 के दौरान दिल्ली में शराब की बिक्री शुरू हुई थी. 4 मई को शराब की दुकानों पर ऐसी भीड़ उमड़ी की सोशल डिस्टेंसिंग खूब धज्जियां उड़ीं. पुलिस को लाठीचार्ज तक करना पड़ा.
इसके बाद केजरीवाल सरकार ने 5 मई से दिल्ली में शराब पर 70 फीसदी कोरोना सेस लगाने का फैसला किया. शराब पर कोरोना चार्ज लगाए जाने के बाद भी ठेकों पर कई दिनों तक भीड़ देखी गई.
दिल्ली में शराब तस्करी के भी कई मामले सामने आए. तस्करों ने लॉकडाउन के दौरान ज्यादा फायदे के लिए दिल्ली में शराब की तस्करी के लिए नए-नए तरीके निकाले. गाड़ियों में सब्जी लादने के बहाने से भी तस्कर शराब की तस्करी करने से बाज नहीं आए. तिगरी थाना पुलिस ने ऐसे तस्करों को हाल ही में पकड़ा था.
दिल्ली हाईकोर्ट ने राष्ट्रीय राजधानी में शराब की दुकानों को बंद करने से इनकार कर दिया था. हाईकोर्ट ने दिल्ली में शराब की दुकानों को बंद करने से जुड़ी जनहित याचिका पर कहा कि राज्य और केंद्र सरकार इस मामले में खुद निर्णय लें. फिलहाल कोर्ट इस मामले में निर्णय लेने के पक्ष में नहीं है.
हालांकि हाईकोर्ट ने दिल्ली और केंद्र सरकार को कहा था कि शराब की बिक्री के दौरान भीड़ ना हो, यह सुनिश्चित किया जाए. सरकार इस जिम्मेदारी का गंभीरता से पालन करें, क्योंकि भीड़ बढ़ने की स्थिति में कोरोना को लेकर कई खतरनाक परिणाम सामने आ सकते हैं.