नई दिल्ली. यह किसी ने नहीं छिपा कि एलन मस्क दुनिया में बड़े स्तर पर क्रिप्टोकरंसी में यकीन करने वाले शख्स है. उन्होंने बिटकॉइन में अच्छा खासा निवेश किया हुआ है, इसलिए टेस्ला और मस्क डॉजकॉइन को इस साल के शुरूआत से ही प्रमोट कर रहे है, लेकिन कभी डॉजफादर ने भी नहीं सोचा होगा डॉज कभी उनकी ही एक कंपनी से भी बड़ा हो जाएगा वो भी इतने कम समय में. डॉजकॉइन ने इस सप्ताह की पहली छमाही में 58 रुपये को छूआ जबकि पहले यह 44 रुपये था. हालांकि इस रन के दौरान डॉज का मार्केट कैपिटलाइजेशन 86 बिलियन डॉलर का था. कंपनी ने मूल्य के मामले में कई हाई प्रोफाइल कंपनियों को भी पीछे छोड़ दिया. दिलचस्प बात यह है कि इसमें एलन मस्क की अपनी एयरोस्पेस कंपनी स्पेस एक्स( SpaceX )भी शामिल है. हाल ही में SEC फाइलिंग के अनुसार एलन मस्क की इस निजी रूप से आयोजित रॉकेट कंपनी का अनुमानित मूल्यांकन 74 बिलियन डॉलर है.
यह अविश्वनीय भी है लेकिन यह भी सच है कि खुद एलन मस्क की मदद से ही डॉजकॉइन ने रिकॉर्ड हाइट हासिल की है. टेल्सा चीफ ने पिछले हफ्ते यह संकेत दिए थे कि वे शनिवार रात को किप्ट्रोकरंसी का रिफरेंस देंगे. अपनी लाइव टि्वटिंग “The Dogefather SNL May 8” में.
शो के बाद और बढ़ सकती है वैल्यू
भारत और अन्य हिस्सों में डॉजकॉइन की कीमत तब से बढ़ रही है. जिसमें आने वाले समय में और बढ़ोत्तरी दिखाई देने के संभावना है जब मस्क शो में दिखाई देंगे. हालांकि मूल्य में परिवर्तन पूरी तरह से इस बात पर निर्भर करता है कि मस्क ने अपनी अपने एलएनएल में उपस्थिति के दौरान क्या कहेंगे. डॉजकॉइन इस साल पहले से ही 8000 प्रतिशत से अधिक ग्रोथ पर है वर्तमान में यह दुनिया का पांचवा सबसे मूल्यवान क्रिप्टोकरंसी है.
मस्क के अलावा यह सपोर्ट भी
मस्क के पंसदीदा क्रिप्टोकरंसी को अन्य जगहों से भी सपोर्ट मिला है. मार्क क्यूबन जो कि जाने जाते है वित्तीय निर्णयों के लिए ने एक ट्विट किया था जिसमें उन्होंने लिखा कि यदि मुझे चुनना पड़े एक लॉटरी टिकट और डॉजकॉइन मैं डॉजकॉइन खरीदना ज्यादा पसंद करूगा. लेकिन कृपया कर मुझे इसके और कुछ और के बीच चयन करने को न कहे.
समस्या उचित ट्रेडिंग इंफ्रास्ट्रक्चर
डॉजकॉइन और अन्य क्रिप्टोकरेंसी के साथ समस्या उचित ट्रेडिंग इंफ्रास्ट्रक्चर की बनी हुई है. जैसा कि पिछले सप्ताह अधिक निवेशक आए, ऐसे में भारत का वजीर एक्स और यूएस रोबिनहुड जैसे विभिन्न ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म जिसमें क्रैश हो गए, जिसके चलते निवेशक अपने कॉइन नहीं बेच सके. कई यूजर्स ने इस बारे में सोशल प्लेटफॉर्म के जरिए शिकायत भी है वे इसके चलते प्रभावित हुए और उन्हें नुकसान उठाना पड़ा.
डॉजकॉइन क्या है?
दिसंबर 2013 में डॉजकॉइन को एक जोक के तौर पर शुरू किया गया था. बिटकॉइन, इथेरियम या लिटकॉइन की तुलना में देखें तो डॉजकॉइन के बारे में बहुत कम लोगों को पता है. इसे IBM सॉफ्टवेयर इंजीनियर बिली मार्कस और एडोब इंजीनियमर जैक्सन पाल्मर ने पीयर–टू–पीयर ट्रांजैक्शन (Peer-To-Peer Transaction) के लिए शुरू किया था. इन्हाेने डॉजकॉइन के लिए किसी फैन्सी चिन्ह को चुनने के बजाय जापानी कुत्ते की एक ब्रीड शिबा इनू (Shiba Inu) को चुना. यह पहले ही ऑनलाइन पॉपुलर था.
शुरुआत में बिटकॉइन (Bitcoin) और इथेरियम (Etherium)) जितना इसे सफलता नहीं मिली. हालांकि, लॉन्च होने के 72 घंटे के अंदर इस किप्टोकरंसी में 300 फीसदी की उछाल देखने को मिली. लिटकॉइन (Litcoin) और लकीकॉइन (Luckycoin) की तर्ज पर ही डॉजकॉइन भी पासवर्ड आधारित स्क्रिप्ट टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करता है. यही खूबी इसे बिटकॉइन से अलग बनाती है, जिसमें एसएचए-256 इनक्रिप्शन का इस्तेमाल किया जाता है.