हरिद्वार महाकुंभ के दौरान कोरोना जांच में हुए फर्जीवाड़े का मुद्दा विधानसभा के मानसून सत्र में प्रमुखता से उठेगा। आपको बता दें कि सोमवार 23 अगस्त से विधानसभा सत्र होने जा रहा है। विपक्ष ने इस मामले को सदन में उठाने की पूरी तैयारी कर ली है। दरअसल हरिद्वार महाकुंभ के दौरान संक्रमण रोकने के लिए कराई गई कोरोना जांच में बड़े स्तर पर फर्जीवाड़ा पाया गया है। प्रारंभिक स्तर पर जांच में गड़बड़ी की पुष्टि होने के बाद सरकार ने हरिद्वार के डीएम को इसकी जांच के निर्देश दिए थे। जिस पर सीडीओ की अध्यक्षता में एक जांच समिति बनाई गई जिसकी रिपोर्ट कुछ दिन पूर्व ही सरकार को मिल गई है।
डीएम की ओर से भेजी गई रिपोर्ट का तो अभी शासन स्तर पर अध्ययन चल रहा है लेकिन सोमवार से शुरू हो रहे विधानसभा सत्र में इस मुद्दे के प्रमुखता से उठने की उम्मीद है। मुख्य सचिव डॉ एसएस संधु की ओर से राज्य के अधिकारियों को सत्र में उठने वाले प्रमुख बिंदुओं में इसे पहले स्थान पर शामिल किया गया है। महाकुंभ में हुए कोरोना जांच फर्जीवाड़े की जांच रिपोर्ट में स्वास्थ्य विभाग के अफसरों की भूमिका पर सवाल उठाए गए हैं। ऐसे में सरकार सदन में जबाव देने के लिए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई कर सकती है।
सत्र के पहले ही दिन विस घेरेगा उक्रांद
उत्तराखंड क्रांति दल के संरक्षक एवं पूर्व अध्यक्ष त्रिवेंद्र पंवार ने मानसून सत्र के पहले दिन विधानसभा घेराव का ऐलान किया। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार एक ही कार्यकाल में तीन-तीन सीएम लाकर भी उत्तराखंड को विकास की दिशा नहीं दे पाई। यह पूरी तरह से विफल सरकार है। उत्तरांचल प्रेस क्लब में उन्होंने कहा कि उक्रांद राज्य से जुड़े क्षेत्रीय मुद्दों को लेकर विधानसभा घेराव करेगा। भाजपा अपने ही संगठन के चक्र में सरकार को घुमाकर राज्य का अहित कर रही है। बार-बार सीएम बदलने से उसकी विफलता जगजाहिर हो चुकी है।
विस के तीन सौ मीटर दायरे में धारा 144
देहरादून में विधानसभा का सत्र 23 अगस्त से शुरू हो रहा है। सुरक्षा के मद्देनजर विधानसभा भवन के तीन सौ मीटर दायरे में सत्र शुरू होने के दिन से समाप्ति तक धारा 144 लागू कर दी गई है। डीएम डॉ. आर राजेश कुमार ने बताया कि विधानसभा सत्र के मद्देनजर धरना-प्रदर्शन, अनशन आदि से शांति व्यवस्था प्रभावित होने की संभावना के चलते परिसर के चारों ओर 300 मीटर की परिधि में 23 अगस्त से विधानसभा सत्र की समाप्ति तक धारा 144 प्रभावी रहेगी। आदेश का उल्लंघन करने पर कानूनी कार्रवाई होगी।