खबरों में चर्चा का केंद्र बने रहने के लिए नेताओं का विवादित बयान देना इन दिनों एक नया ट्रेंड बनता जा रहा है। इसी कड़ी में तृणमूल कांग्रेस के नेता और राज्यसभा सदस्य डेरेक ओ ब्रायन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर विवादित बयान दिया है। उन्होंने बुधवार को राज्यसभा में अपने संबोधन में इशारों- इशारों में पीएम मोदी की तुलना राक्षस ‘महिषासुर’ से की है। उनका यह बयान राज्यसभा में प्रधानमंत्री मोदी के कांग्रेस की राज्यसभा सदस्य रेणुका चौधरी पर की गई टिप्पणी से जोड़कर देखा जा रहा है। उन्होंने राक्षस ‘महिषासुर’ का जिक्र करते हुए वो भी सोचता था कि उसे कोई पराजित नहीं कर सकता लेकिन सारी अच्छी शक्तियां महिला के रूप में एक साथ आकर उसको खत्म कर दिया था। डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि मैं इस देश से भी यही आशा करता हूं। गौरतलब है कि इससे पहले बुधवार को तृणमूल कांग्रेस के नेता और राज्यसभा सदस्य डेरेक ओ ब्रायन यह कहते हुए अपने स्थान से बीच में ही सदन से उठकर चले गए थे। जब ब्रायन ऐसा कहकर सदन का बहिष्कार कर रहे थे तो उस समय प्रधानमंत्री मोदी राष्ट्रपति अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव की चर्चा का जवाब दे रहे थे।
यह स्थिति तब आई थी, जब प्रधानमंत्री बंबू (बांस) को पेड़ से घास की श्रेणी में रखने के सरकार के निर्णय के फायदे गिना रहे थे। वह विश्व में रासायनिक वैक्स से लोगों की दूरी बनाने और मधुमक्खियों के वैक्स की बढ़ती मांग पर भविष्य की संभावना बता रहे थे। किसानों के लिए सोलर पंप, गन्ना पर गुजरात में अनुभव को साझा कर रहे थे।
पीएम सदन को बता रहे थे कि हमें देश को आगे ले जाने के लिए कैसे वैल्यू एडिशन पर ध्यान देना होगा। इस बीच ब्रायन के सब्र का बांध टूट गया। वह अपने स्थान से उठ खड़े हुए और आसन से कहा कि उन्हें यह भाषण नहीं सुनना है। ब्रायन ने कहा भाषण…भाषण…भाषण, बहुत हो चुका भाषण। उन्हें सवालों का जवाब चाहिए। प्रधानमंत्री सवालों का जवाब देने के बजाय भाषण सुना रहे हैं। यह कहते हुए तृणमूल कांग्रेस के सांसद ने सदन का बहिष्कार कर दिया था।
ये है पूरा मामला?
बता दें कि बुधवार (7 फरवरी) को पीएम मोदी राज्यसभा में राष्ट्रपति अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव की चर्चा का जवाब दे रहे थे। उसी दौरान प्रधानमंत्री अपने भाषण में कांग्रेस के उस दावे का उल्लेख कर रहे थे, जिसमें कांग्रेस आधार को अपना बताती है। इसके जवाब के क्रम में प्रधानमंत्री ने सदन में कहा था कि सात जुलाई 1998 को वर्तमान सभापति वेंकैया नायडू ने बतौर राज्यसभा सदस्य तत्कालीन गृहमंत्री लालकृष्ण आडवाणी से सवाल पूछा था।
नायडू के सवाल के जवाब में आडवाणी ने कहा कि बहुउद्देश्यीय राष्ट्रीय कार्ड का उपयोग पासपोर्ट, राशन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, स्वास्थ्य सेवाओं, शिक्षण संस्थाओं में प्रवेश, जीवन बीमा, निजी और सार्वजनिक क्षेत्र में रोजगार, जमीन के दस्तावेज, शहरी संपत्तियों आदि में किया जाएगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि आधार का बीज यहां है…20 साल पहले। प्रधानमंत्री के आधार पर दिए इसी बयान पर कांग्रेस सांसद रेणुका चौधरी की क्या मजाक है, का आभास कराती हुई सदन में हंसी के ठहाके गुंजे। उनकी इस हंसी पर पीएम ने रामायण का जिक्र करते हुए कहा था कि उन्होंने रामायण के बाद ऐसी हंसी सुनी है।