नई दिल्ली। अमेरिका में जब से ट्रंप प्रशासन लागू हुआ है तभी से भारतीयों की नौकरियों पर आंच आने लगी थी। एच-1बी वीजा को लेकर अमेरिका ने नए नियम बनाए हैं। उसकी वजह से भारतीयों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वहीं यह खबर मिली है कि भारतीय आईटी कपंनी इंफोसिस ने ऐलान किया है कि वह 10 हजार अमेरिकियों को नौकरी दी जाएगी।
10 हजार अमेरिकियों को नौकरी देकर कंपनी ने दिखाई दरियादिली
इंफोसिस ने ट्वीट करते हुए इस बात की जानकारी दी है। अभी कंपनी के कुल कर्मचारियों की संख्या करीब दो लाख है। इनमें करीब दो हजार ऐसे लोग है जिन्हे अमेरिका में पिछले कुछ सालों के दौरान नौकरी पर रखा गया।
अमेरिका के सख्त कदम के बाद लिया फैसला
कंपनी का ये ऐलान ऐसे समय में आया है जब अमेरिकी प्रशासन की ओर से एच-1बी वीजा को लेकर सख्ती की बात की जा रही है. तकनीक में दक्ष करीब 65 हजार लोगों को हर साल अमेरिका एच-1बी वीजा मुहैया कराता है. इसके अलावा 20 हजार वीजा उन लोगों को दिए जाते हैं जिन्होंने अमेरिका में एडवांस डिग्री हासिल की है.
एक बार आकड़ों पर डालें नजर
अमेरिकी प्रशासन ने हाल ही में आरोप लगाया था कि इंफोसिस और टीसीएस ज्यादा वीजा पाने के लिए लॉटरी सिस्टम में ज्यादा संख्या में आवेदन करते हैं। सॉफ्टवेयर कंपनियों की संस्था नैस्कॉम के आंकड़े बताते हैं कि 2014-15 में दोनों कंपनियों को साढ़े सात हजार से ज्यादा वीजा मिला, जो कुल संख्या का करीब 8.8 फीसदी बनता है।
दो साल में दी जाएगी इतनी नौकरियां
इंफोसिस का कहना है कि अमरिकियों के लिए नई नौकरियां अगले दो सालों में देने का लक्ष्य रखा गया है. इसके लिए चार टेक्नोलॉजी और इनोवेशन हब खोले जाएंगे. इसमें से पहला हब इस साल अगस्त तक इंडियाना में खोला जाएगा, जिसमें 2021 तक अमरिकियों के लिए करीब दो हजार नौकरी देने का लक्ष्य रखा गया है।