मैन्युफैक्चरिंग को प्रोत्साहन के लिए देश के सात इंटिग्रेटेड मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर (आईएमसी) में प्लग एंड प्ले सुविधा विकसित करने की योजना तैयार की जा रही है। ये सात आईएमसी अमृतसर कोलकाता इंडस्ट्रीयल कोरिडोर (एकेआईसी) पर देश के सात राज्यों में विकसित किए जा रहे हैं। इन दिनों सभी राज्यों में आईएमसी के लिए सरकार की तरफ से जमीन अधिग्रहण करने एवं उसे विकसित करने का काम तेजी से चल रहा है। दूसरी तरफ इंडस्ट्रीयल कोरिडोर से जुड़ी परियोजनाओं की मदद के लिए एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) से 50 करोड़ डॉलर की मदद लंबे समय के कर्ज के रूप में ली जाएगी।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के इस प्रस्ताव को आर्थिक मामलों के विभाग की तरफ से सैद्धांतिक मंजूरी मिल चुकी है। जिन सात राज्यों में आईएमसी विकसित किए जाएंगे उनमें पंजाब (राजपुरा-पटियाला), उत्तराखंड (प्राग-खुरपिया फार्म्स), उत्तर प्रदेश (भाउपुर) , बिहार (गम्हरिया), झारखंड (बरही), पश्चिम बंगाल (रघुनाथपुर) व हरियाणा (साह) शामिल हैं। इनमें से पंजाब, उत्तर प्रदेश एवं हरियाणा जैसे राज्यों में आईएमसी के विकास के लिए सरकार की तरफ से जमीन अधिग्रहण का काम तेज हो गया है।
सूत्रों के मुताबिक पंजाब के पटियाला जिले के राजपुरा इलाके में 1000 एकड़ में आईएमसी विकसित किया जा रहा है और इस काम के लिए अगले महीने तक जमीन अधिग्रहण का काम पूरा हो जाएगा। हाल ही में इंडस्ट्रीयल कोरिडोर प्रोजेक्ट के विकास को लेकर विभिन्न राज्यों के साथ हुई बैठक में उत्तर प्रदेश की तरफ से इलाहाबाद, अलीगढ़ और कानपुर क्षेत्र में आईएमसी की स्थापना के लिए जमीन देखी जा रही है। राज्य सरकार ने नेशनल इंडस्ट्रीयल कोरिडोर डेवलपमेंट कारपोरेशन (एनआईसीडीसी) से कहा है कि जल्द ही जमीन की जानकारी साझा की जाएगी।
हरियाणा ने हिसार में आईएमसी विकसित करने की योजना एनआईसीडीसी को बताई है। जमीन की उपलब्धता जल्द ही साझा की जाएगी। उत्तराखंड सरकार से भी आईएमसी विकसित करने के मामले में अपनी स्थिति स्पष्ट करने के लिए कहा गया है। सूत्रों के मुताबिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर में प्लग एंड प्ले सुविधा विकसित की जाएगी ताकि नए उद्यमियों को कम लागत में मैन्युफैक्चरिंग से जुड़ने का मौका मिल सके। सूत्रों के मुताबिक उत्तर प्रदेश, पंजाब एवं हरियाणा की नजर चीन में काम कर रही विदेशी कंपनियों पर है। इसलिए ये राज्य आईएमसी विकसित करने में तेजी दिखा रहे हैं।