करेले का नाम सुनते ही कई लोगों के मुंह का जायका बिगड़ जाता है, लेकिन इसमें कई गुण होते हैं। यह खून तो साफ करता ही है, साथ ही डायबीटीज के रोगियों के लिए बेहद फायदेमंद है। करेला डायबीटीज में अमृत की तरह काम करता है। दमा और पेट के रोगियों के लिए भी यह लाभदायक है। इसमें फॉस्फॉरस पर्याप्त मात्रा में होता है जो कफ की शिकायत को दूर करता है।
खून में शुगर लेवल कंट्रोल में रहता है
करेले का इस्तेमाल एक नैचरल स्टेरॉयड के रूप में किया जाता है क्योंकि इसमें केरेटिन नामक रसायन होता है। इसका सेवन करने से खून में शुगर का स्तर नियंत्रित रहता है। करेले में मौजूद ओलिओनिक ऐसिड ग्लूकोसाइड, शुगर को खून में न घुलने देने की क्षमता रखता है।
पोषक तत्वों से भरपूर करेला
करेला इसलिए भी डायबीटीज की रोकथाम के लिए जरूरी है क्योंकि यह एक साथ शुगर को इकट्ठा कर लेता है और सीधे रक्तधारा में बहाता है। इससे शरीर को बिना शुगर लेवल को बढ़ाए ब्रेक डाउन करने में मदद मिलती है। करेला जितना शुगर के स्तर को संतुलित करता है शरीर को उतने ही पोषक तत्व मिलते हैं। इसके अलावा करेले में तांबा, विटमिन बी, अनसैचुरेटेड फैटी ऐसिड जैसे तत्व हैं। इनसे खून साफ रहता है और किडनी व लिवर भी स्वस्थ रहता है।
करेला खाने के फायदे
– कफ के मरीजों के लिए करेला बहुत फायदेमंद होता है।
– दमा होने पर बिना मसाले की सब्जी लाभदायक होती है।
– पेट में गैस की समस्या या अपच होने पर करेला राहत देता है।
– लकवे के मरीजों को कच्चा करेला खाने से फायदा होता है।
– उल्दी, दस्त या हैजा होने पर करेले के रस में पानी और काला नमक डालकर सेवन करने पर तुरंत फायदा होता है।
– पीलिया के मर्ज में भी करेला लाभकारी है। रोगियों को इसका रस पीना चाहिए।
– करेले के रस का लेप लगाने से सिरदर्द दूर होता है।
– गठिया रोगियों के लिए करेला फायदेमंद होता है।
– मुंह में छाले पड़ने पर करेले के रस का कुल्ला करने से राहत मिलती है