मौलाना के समर्थन में थाने के बाहर हंगामा करने वाली भीड़ के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 353, 332, 333, 341, 336 और महाराष्ट्र पुलिस एक्ट की अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। इस मामले में मुंबई पुलिस अबतक तीन लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है।
भाषण के जरिए नफरत फैलाने के आरोप में गुजरात एटीएस ने रविवार को मौलाना मुफ्ती सलमान अजहरी को मुंबई के घाटकोपर से गिरफ्तार किया था। उनकी गिरफ्तारी के बाद घाटकोपर पुलिस स्टेशन के बाहर भीड़ इकट्ठा हुई, जिसके बाद मुंबई पुलिस ने भीड़ के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
भीड़ के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 353, 332, 333, 341, 336 और महाराष्ट्र पुलिस एक्ट की अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। इस मामले में मुंबई पुलिस अबतक तीन लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है।
पुलिस पर मौलाना को अवैध रूप से गिरफ्तार करने का आरोप
मौलाना मुफ्ती सलमान अजहरी के वकील आरिफ सिद्दीकी ने बताया कि उन्हें अवैध रूप से हिरासत में लिया गया था। वकील ने कहा, ‘हमें नोटिस दिया जाना चाहिए लेकिन अभी तक हमें कोई नोटिस नहीं मिला है। मौलाना को दो दिन की ट्रांजिट रिमांड पर भेज दिया गया है। मौलाना को गुजरात एटीएस जूनागढ़ लेकर जाएगी।’
मौलाना की गिरफ्तारी पर बड़ी संख्या में विरोध प्रदर्शन भी किया जा रहा है। इस दौरान मौलाना ने घाटकोपर पुलिस स्टेशन के बाहर विरोध प्रदर्शन कर रहे अपने समर्थकों से कानून और व्यवस्था बनाए रखने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा, ‘जोश में होश नहीं खोना चाहिए। स्थिति जो भी हो, मैं आपके सामने हूं। न तो मैं अपराधी हूं और न ही मुझे अपराध करने के लिए यहां लाया गया है।’
गिरफ्तारी के लिए सिविल ड्रेस में पहुंची थी पुलिस
मौलाना मुफ्ती सलमान अजहरी के वकील वाहिद शेख ने बताया कि मौलाना के घर सुबह-सुबह 35 से 40 पुलिसकर्मी सिविल ड्रेस में पहुंचे थे। हमने उनसे आने का कारण पूछा तो उन्होंने कुछ नहीं बताया। उन्होंने बाद में मौलाना को ले जाते समय कहा कि गुजरात में इनके खिलाफ 153 बी के तहत केस दर्ज किया है। मौलाना पुलिस का सहयोग करने को तैयार हैं।