संयुक्त राष्ट्र (UN) में कार्यरत भारती यराष्ट्रीयता वाले एक अधिकारी को अपने सहकर्मियों के साथ यौन दुर्व्यवहार करने के मामले में दोषी पाए जाने पर बर्खास्त कर दिया गया है.
उक्त अधिकारी का काम यूएन वुमन संस्था में लैंगिक समानता और युवाओं की भागीदारी को बढ़ावा देना था. उनके कुछ सहकर्मियों द्वारा गलत आचरण की शिकायत के मामले की पिछले एक साल से जांच की जा रही थी.
यूएन वुमन की एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर फुमजिले एम. नगकुआ ने अपने बयान में कहा, ‘एक यूएन वुमन स्टाफ मेंबर पर लगे आरोपों के बारे में जांच और अनुशासनात्मक कार्रवाई की प्रक्रिया पूरी हो गई है और यह पाया गया कि उन्होंने यौन दुर्व्यवहार किया है. इसकी वजह से मैंने उक्त कर्मचारी को बर्खास्त कर दिया है. यह नियम के मुताबिक कठोरतम कार्रवाई है. उन्हें अब यूएन के किसी भी सिस्टम में नौकरी नहीं मिल सकती. उन्हें किसी तरह की राजनयिक छूट भी नहीं दी जा सकती.’
पुरुष सहकर्मी के साथ यौन दुर्व्यवहार
गौरतलब है कि जांच प्रक्रिया शुरू होने के बाद से ही उक्त अधिकारी निलंबित चल रहे थे. उन पर आरोप था कि उन्होंने अपने एक पुरुष सहकर्मी का जननांग पकड़ लिया था और अश्लील हरकतें की थीं. यही नहीं उन्होंने अपने कई सहकर्मियों को मोबाइल पर फूहड़ तस्वीरें और आपत्तिजनक लिंक भी भेजे थे. उनके एक सहकर्मी स्टीव ने आरोप लगाया था कि उन्होंने एक होटल में रहने के दौरान उनके साथ अश्लील हरकतें की और यौन उत्पीड़न किया.
हालांकि उक्त अधिकारी पर कोई आपराधिक मुकदमा चलाने का अधिकार यूएन वुमन को नहीं है, इसलिए यूएन ने संबंधित राष्ट्रीय एजेंसी को इस पर कार्रवाई करने को कहा है और पूरी तरह से सहयोग करने का भरोसा दिया है.
नगकुआ ने कहा, ‘संयुक्त राष्ट्र हिंसा और दुर्व्यवहार रहित दुनिया के लिए काम कर रहा है और हमारे पूरे तंत्र में भी इसी तरह की नीतियां समाहित हैं.