ट्रांसपोर्ट मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर ने बताया कि 2007 से 2017 के बीच शिरोमणि अकाली दल और कांग्रेस सरकार के समय में ट्रांसपोर्ट विभाग के अफसरों की मिलीभगत से अवैध परमिट जारी किए गए थे। इसमें सरकारों के मंत्री और नेता खुद शामिल थे।
पंजाब ट्रांसपोर्ट विभाग ने अवैध तरीक से जारी परमिटों पर चल रही बसों पर कड़ी कार्रवाई करते हुए 600 बसों के परमिट रद्द कर दिए हैं। इनमें बादल परिवार की 122 बसें व कांग्रेस नेताओं की बसें भी शामिल हैं।
ट्रांसपोर्ट मंत्री लालजीत सिंह भुल्लर ने बताया कि 2007 से 2017 के बीच शिरोमणि अकाली दल और कांग्रेस सरकार के समय में ट्रांसपोर्ट विभाग के अफसरों की मिलीभगत से अवैध परमिट जारी किए गए थे। इसमें सरकारों के मंत्री और नेता खुद शामिल थे। ट्रांसपोर्ट मंत्री ने कहा कि सरकार ने पूरी जांच पड़ताल के बाद ही परमिट रद्द किए हैं।
परिवहन मंत्री भुल्लर ने बताया कि परिवहन क्षेत्र में सभी को समान अवसर प्रदान करने की दिशा में सरकार ने बड़ा कदम उठाते हुए यह कार्रवाई की है। उन्होंने कहा कि पंजाब मोटर वाहन नियम, 1989 के नियम 80-ए के तहत जारी किए गए सभी कंपोजिट परमिटों (सीपी) की जांच के आदेश दिए गए थे। यह कार्रवाई परिवहन क्षेत्र में स्टेज कैरेज परमिटों की अवैध क्लबिंग और उपयोग से संबंधित अनियमितताओं के मुद्दे हल करने के उद्देश्य से की गई है। इनमें कई तरह की धांधली के मामले सामने आए और एक ही परमिट पर कई बसें चलाने की भी बात सामने आई। इसी के मद्देनजर कार्रवाई करते हुए बसों के अवैध परमिट रद्द किए गए हैं।
बड़े बस ऑपरेटरों का गठजोड़ होगा खत्म
भुल्लर ने कहा कि इस कार्रवाई का मुख्य उद्देश्य बड़े बस ऑपरेटरों का गठजोड़ तोड़ना है। ऑपरेटरों द्वारा परमिटों की अवैध क्लबिंग से लिए जा रहे अनुचित लाभों को समाप्त करना सरकार का मकसद है। मंत्री ने कहा कि इस कदम से छोटे और मध्यम बस ऑपरेटरों के लिए अधिक समानता वाला माहौल बनेगा। मंत्री ने बताया कि परिवहन विभाग को इस क्षेत्र में कई खामियां मिली हैं, जिन्हें दुरुस्त करने की दिशा में सरकार काम कर रही है।