अधिकारियों ने बताया कि बैंकर को तड़के करीब तीन बजे धन शोधन निवारण कानून (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत गिरफ्तार किया गया क्योंकि वह जांच में कथित तौर पर सहयोग नहीं कर रहे थे। केंद्रीय एजेंसी ने कपूर के आवास पर शुक्रवार रात को छापा मारा था जिसके बाद 20 घंटे से अधिक समय तक चली पूछताछ के बाद बेलार्ड एस्टेट में ईडी के कार्यालय में कपूर को गिरफ्तार कर लिया गया था।
यह गिरफ्तारी ऐसे समय में हुई है, जब इस निजी बैंक में वित्तीय अनियमितताओं और इसके संचालन में कुप्रबंधन के आरोप सामने आए हैं और आरबीआई एवं केंद्र सरकार ने इसके मामलों को नियंत्रित करने के लिए कार्रवाई शुरू की है। अधिकारियों ने बताया कि 62 वर्षीय कपूर को एक स्थानीय अदालत में पेश किया जाएगा ताकि उन्हें हिरासत में लिया जा सके।
मामले के जांच अधिकारी ने उस समय पीएमएलए के तहत कपूर का बयान दर्ज किया था जब उनसे यहां वर्ली इलाके में समुद्र महल में उनके आवास पर शुक्रवार रात को पहली बार पूछताछ की गई थी।
अधिकारियों के अनुसार, कपूर की पत्नी बिंदु और बेटियां राखी कपूर टंडन, रोशनी कपूर और राधा कपूर उन कंपनियों से कथित तौर पर जुड़ी है जिनमें आपराधिक गतिविधियों का पता चला है। उन्होंने बताया कि कपूर के खिलाफ मामला घोटालों से घिरी डीएचएफएल से जुड़ा है। डीएचएफएल ने बैंक से कर्ज लिया था, लेकिन उसे चुकाया नहीं और वह गैर निष्पादित परिसंपत्ति (एनपीए) में बदल गया।
अधिकारियों ने बताया कि डीएचएफएल द्वारा एक कंपनी को दिए 600 करोड़ रुपये का कर्ज भी ईडी की जांच के केंद्र में है। केंद्रीय एजेंसी कुछ कॉरपोरेट कंपनियों को कर्ज देने में कपूर की भूमिका और इसके बाद उनकी पत्नी के खातों में रिश्वत की रकम डाले जाने के मामले की भी जांच कर रही है।
सीबीआई ने हाल ही में उत्तर प्रदेश में 2,267 करोड़ रुपये के कर्मचारी भविष्य निधि घोटाले की जांच हाथ में ली थी जहां बिजली क्षेत्र के कर्मचारियों की गाढ़ी कमाई को दीवान हाउसिंग फाइनेंस कॉरपोरेशन (डीएचएफएल) में निवेश किया गया था।