प्रदेश में आगामी विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) से पहले प्री-एसआइआर यानी बीएलओ आउटरीच अभियान चलाया जा रहा है। पहले यह अभियान 31 दिसंबर तक चलना था। अब मतदाताओं की सुविधा के लिए इसकी अवधि 10 जनवरी तक बढ़ा दी गई है।
प्रदेश में इन दिनों प्री-एसआइआर गतिविधियों के तहत प्रत्येक मतदाता तक पंहुच, समन्वय और संवाद स्थापित किया जा रहा है। इसके तहत वर्तमान मतदाताओं की वर्ष 2003 की मतदाता सूची से मैपिंग की जा रही है। वर्तमान में प्री एसआईआर अभियान में लगभग 65 प्रतिशत मतदाताओं की 2003 की मतदाता सूची से मैपिंग भी कर दी गई है।
सहायक मुख्य निर्वाचन अधिकारी मस्तू दास ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के क्रम में एक दिसंबर से बीएलओ आउटरीच अभियान चलाया जा रहा है। मतदाताओं की सुविधा को देखते हुए इस अभियान को अब 10 जनवरी तक चलाने का निर्णय लिया गया है।
उन्होंने बताया कि वर्तमान मतदाता सूची में प्रदेश के जिन मतदाताओं की उम्र 38 वर्ष या उससे अधिक है और उनके नाम 2003 की मतदाता सूची में दर्ज हैं, उनकी सीधे बीएलओ ऐप से मैपिंग की जा रही है।
इसके साथ ही प्रदेश के ऐसे मतदाता, जिनके नाम 2003 की मतदाता सूची में किसी कारणवश नहीं हैं और उनके माता-पिता का नाम 2003 की मतदाता सूची में है तो उनके माता-पिता अथवा दादा-दादी के नाम के आधार पर उनकी प्रोजनी के रुप में मैपिंग की जा रही है। वर्ष 2003 की मतदाता सूची सीईओ उत्तराखंड की वेबसाइट पर देखी जा सकती है। उन्होंने सभी से बीएलओ को अपेक्षित जानकारी उपलब्ध कराने की अपील भी की है।
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