उत्तराखंड हाईकोर्ट की पहली महिला मुख्य न्यायाधीश रितु बाहरी के सम्मान में सोमवार को हाईकोर्ट में फुल कोर्ट रेफरेंस आयोजित किया गया। इस दौरान रितु बाहरी ने कहा कि अधिवक्ताओं की समस्याओं के निराकरण के प्रयास होंगे।
उत्तराखंड हाईकोर्ट की पहली महिला मुख्य न्यायाधीश रितु बाहरी के सम्मान में सोमवार को हाईकोर्ट में फुल कोर्ट रेफरेंस आयोजित किया गया। हफ्ता भर पहले ही नवनियुक्त मुख्य न्यायाधीश ने देहरादून राजभवन में शपथ ली थी।
न्यायमूर्ति रितू बाहरी अभी तक पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट की कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश थी। फुल कोर्ट रेफरेंस के दौरान मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि अधिवक्ताओं की समस्याओं के निराकरण के प्रयास होंगे, साथ ही वादकारियों को सस्ता व सुलभ न्याय दिलाया जाएगा। उन्होंने कहा कि युवा अधिवक्ताओं के सुझावों पर भी विचार किया जाएगा। मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि विषम पहाड़ी क्षेत्रों में वादकारियों को आसान न्याय देने के तरीकों पर विचार किया जा रहा है।
इस मौके पर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष डीसीएस. रावत ने कहा कि राज्य में महिला सशक्तिकरण का दौर है। राज्य में पहली महिला मुख्य सचिव के साथ ही विधानसभा अध्यक्ष सहित कई अहम पदों पर मातृशक्ति आसीन है। कहा कि हाईकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश भी महिला के बनने से मातृशक्ति के आत्म विश्वास को मजबूती मिली है। इससे पूर्व वरिष्ठ न्यायाधीश न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी व महाधिवक्ता एसएन.बाबुलकर ने मुख्य न्यायाधीश के स्वागत में सम्मान पत्र पढ़ा।
इस अवसर पर न्यायमूर्ति रविंद्र मैठाणी, न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा, न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल, न्यायमूर्ति पंकज पुरोहित, न्यायमूर्ति विवेक भारती शर्मा, रजिस्ट्रार जनरल आशीष नैथानी, कौशल किशोर शुक्ला, पूर्व न्यायाधीश यूसी. ध्यानी, आलोक सिंह, बीएस.वर्मा, राजेश टंडन, मुख्य स्थायी अधिवक्ता चंद्रशेखर सिंह रावत, शासकीय अधिवक्ता अमित भट्ट, बार कौंसिल अध्यक्ष डॉ. महेंद्र पाल, वरिष्ठ अधिवक्ता अवतार सिंह रावत, देवेंद्र पाटनी, मो. सय्यद मून, वीबीएस नेगी, गौरव अधिकारी, गजेंद्र संधू, कमलेश तिवारी, दुर्गा सिंह मेहता, रमन शाह, प्रभाकर जोशी, लोकेंद्र डोभाल, वीपी नौटियाल, डीआईजी. कुमाऊं डॉ. योगेंद्र सिंह रावत, जिलाधिकारी वंदना सिंह, एसएसपी प्रहलाद नारायण मीणा आदि उपस्थित रहे।