कई पहाड़ों, पर्वतों, जंगलों और झरनों से सजे राज्य झारखण्ड को जंगलों और सोने का खजाना कहा जाता है। यहाँ का वन्य माहौल दिल को खुश करने वाला होता हैं खासकर मानसून के दिनों में। मानसून के महीने में तो यहां की खूबसूरती और भी बढ़ जाती है। मानसून के दौरान यहाँ का वातावरण और यहाँ के प्राकृतिक नज़ारे देखने को बनते हैं। इसलिए आज हम आपके लिए लेकर आए हैं झारखण्ड के बारे में कुछ ऐसी चीजें जो मानसून के दिनों में इसको और ख़ास बनाती हैं। तो आइये जानते हैं कैसे।
* शानदार झरने
झारखंड राज्य में एक क्षेत्र ऐसा भी है जहां पर सबसे ऊंचा झरना बहता है और इसी वजह से झारखंड को झरनों का शहर भी कहा जाता है। लतेहर जंगल से होते हुए राज्य के सबसे ऊंचे झरने लोध फॉल्स तक पहुंच सकते हैं। 150 मीटर की ऊंचाई से गिरता हुआ पानी देखने में बहुत शानदार लगता है और मॉनसून के दौरान तो इसका नज़ारा आपको खुश ही कर देगा। इसके अलावा हुंद्रा फॉल्स, दस्सम फॉल्स, जोहना फॉल, पंचगढ़ फॉल्स और हिरनी फॉल्स आदि देख सकते हैं। यहां पर ऐसी कई खूबसूरत जगहें हैं जहां पर आप ट्रैकिंग, माउंटेन बाइकिंग, रॉक क्लाइंबिंग, कैनोइंग, पैराग्लाइडिंग, कायाकिंग आदि का मज़ा ले सकते हैं। अगर आप सीज़नल ट्रैकर हैं तो आपको सिकिदिरी और दस्सत झरना देखना चाहिए जोकि रांची के छोर पर स्थित है।
* विभिन्न जनजातीय संस्कृति
इस राज्य में 30 से भी ज्यादा जनजाति सुमुदाय रहते हैं और इस वजह से यहां पर विभिन्न तरह की संस्कृतियां भी देखने को मिलती हैं। क्या आपने छोउ नाच के बारे में सुना है। ये यहां का सबसे मज़ेदार और एनर्जी देने वाला डांस फॉर्म है जिसमें लोग रंग-बिरंगे मास्क पहनकर आग के खंभों के आसपास नृत्य करते हैं। इस राज्य की और कलात्मक चीज़ों जैसे बॉडी पेंटिंग, स्टोन कटिंग, फ्रेस्को पेंटिंग आदि को भी जान सकते हैं। स्थानीय गांवों में घूमने पर आपको कला का एक अलग ही रंग देखने को मिलेगा।
* स्वादिष्ट व्यंजन
जब तक आप खुद नहीं खाएंगें तब तक आपको विश्वास नहीं होगा कि वाकई में झारखंड में मजेदार व्यंजन मिलते हैं। यहां के लिट्टी चोखा, थेकुआ, मालपुआ और मीठा खाजा आदि जैसे व्यंजन मॉनसून के मौसम में खूब खुशी से खाए जाते हैं। इसके साथ एक कप चाय हो तो मज़ा ही दोगुना हो जाता है। हज़ारों बगीचे झारखंड में हज़ारों बगीचे हैं। ऐतिहासिक शहर हजारीबाग को अब हैल्थ रिजॉर्ट शहर में तब्दील कर दिया गया है। हजारीबाग नेशनल पार्क में आपको शेर, जंगली हिरण और जंगली बोअर की विभिन्न प्रजातियां देखने को मिलेंगीं।
* वास्तुकला
छोटे से शहर देवघर में हज़ारों मंदिर हैं जोकि भगवान शिव को समर्पित हैं। यहाँ पर सर्वप्रसिद्ध बाबा बैद्यनाथ मंदिर भी स्थित है जोकि भारत में भगवान शिव के 12 ज्योर्तिलिंगों में से एक है।
* इतिहास का संगम
ट्विन पलामु किले 20 किमी के बीच स्थित हैं। शेरा राजवंश के दौरान बनवाए गए ये दो किले बहुत प्राचीन हैं। इन्हें इस्लामिक शैली में बनवाया गया था और इन पर संस्कृत में शिलालेख लिखे हैं। इनमें से एक किला पहाड़ी पर स्थित है जबकि दूसरा मैदान में है। नदियां सोने में बदल जाती हैं अगर आप कार से मंगोलिया प्वाइंट से नेतारहट हिल्स तक लॉन्ग ड्राइव पर जाते हैं तो आप इस सफर में कोएल नदी को सूर्यास्त के दौरान सोने में तब्दील होते हुए देख सकते हैं। जब सूरज डूबता है तो ये पूरी नदी सोने की तरह चमकने लगती है।