बिहार के बेगूसराय से भाजपा सांसद भोला प्रसाद सिंह का निधन शुक्रवार की रात करीब 9.30 बजे दिल्ली के राममनोहर लोहिया अस्पताल में हो गया। वे करीब 79 वर्ष के थे तथा कुछ समय से बीमार थे। उनके निधन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहित अनेक मंत्रियों, जनप्रतिनिधियों व नेताओं ने श्रद्धांजलि दी। उनका पार्थिव शरीर अपराह्न काल में नई दिल्ली से पटना लाया गया।
पटना में सीएम नीतीश ने दी श्रद्धांजलि
दिवंगत सांसद का पार्थिव शरीर पटना एयरपोर्ट से विधानसभा ले जाया गया। वहां मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहित अनेक मंत्रियों व जनप्रतिनिधियों तथा नेताओं ने उन्हें श्रद्धांजलि दी। इसके बाद उनके पार्थिव शरीर को प्रदेश भाजपा कार्यालय में दर्शनार्थ रखा जाएगा। तत्पश्चात रविवार को बेगूसराय के सिमरिया घाट पर राजकीय सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। उनके बड़े पुत्र अरुण कुमार मुखाग्नि देंगे |
दिल्ली में परिजनों से मिले पीएम मोदी, दी श्रद्धांजलि
सांसद भोला सिंह के निधन के बाद देर रात से उन्हें श्रद्धांजलि देने वालों का तांता लगा हुआ है। देर रात केंद्रीय मंत्री राधामोहन सिंह उनके दिल्ली स्थित आवास पर गए। शनिवार की सुबह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन सहित अनेक केंद्रीय मंत्री, सांसद व विधायक तथा अन्य गणमान्य लोग उन्हें श्रद्धांजलि देने पहुंचे।
इसके पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीती रात अपने शोक संदेश में उन्हें बिहार के विकास व समाज सेवा में उनके योगदान को याद किया। देर रात झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास ने भी शोक जताया।
बिहार में भी शोक संवेदनाओं का तांता
बिहार में भी उन्हें श्रद्धांजलि देने वालों का तांता लगा हुआ है। बिहार के राज्यपाल लालजी टंडन व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी शोक व्यक्त किया है। शोक व्यक्त करने वालों में राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव, बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव, पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी, पूर्व मंत्री तेज प्रताप यादव भी शामिल हैं।
भोला सिंह का राजनीतिक सफर, एक नजर
भोला सिंह कम्युनिस्ट पार्टी, कांग्रेस, राष्ट्रीय लोक दल में भी रहे। सांसद बनने से पूर्व वे बिहार सरकार में शहरी विकास मंत्री भी रहे थे। सन् 2000 से 2005 के बीच वे बिहार विधान सभा के डिप्टी स्पीकर भी रहे थे। आगे 2009 में वे भाजपा से सांसद बने। उन्होंने नवादा संसदीय क्षेत्र से चुनाव जीता।
वे इतिहास के प्रोफेसर भी रह चुके थे।