शिवराज सरकार ने राज्य में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए ‘मध्यप्रदेश उद्योगों की स्थापना परिचालन संचालन का सरलीकरण अध्यादेश 2023’ जारी किया है। इससे अब प्रदेश में उद्योगों की स्थापना सरल हो जाएगा। वहीं यहां आने वाले विकास का रास्ता खुल जाएगा। क्योंकी इसके माध्यम से सरकार उद्योगों को तीन वर्षों के लिए सभी अनुमतियों से छूट देने जा रही है।

वही इसके तहत मध्य प्रदेश में उद्योग लगाने के लिए अब 3 वर्षों तक किसी भी कानूनी अनुमति की आवश्यकता नहीं होगी। इस अवधि में सरकारी अधिकारी कर्मचारी को उद्योगों का निरीक्षण का अधिकार नहीं होगा। 3 वर्ष इन उद्योगों को केंद्रीय कानूनों के अंतर्गत भी अनिवार्य अनुभूतियों से छूट रहेगी।
अध्यादेश में बताया गया है प्रदेश सरकार एक राज्यस्तरीय कमेटी का गठन करेगी। जो निवेश के प्रस्ताव के आधार पर उद्योगों को एक प्रमाण पत्र जारी करेगी। उद्योग संबंधी किसी भी प्रकार का विवाद सामने आने पर यह कमेटी ही उसका निपटारा करेगी। प्रदेश के राजस्व, नगरीय निकाय, पंचायतराज्य, श्रम,विद्युत, वाणिज्य, पर्यावरण प्रदूषण नियंत्रण मंडल, जल संसाधन समेत सभी विभागों की इजाजत से छूट होगी। वही अब निवेशकों को प्रदेश के सिंगल विंडो सिस्टम इन्वेस्ट पोर्टल पर पंजीयन कराना होगा। पंजीयन के पश्चात् ही आवेदक को इंटेंशन टू इन्वेस्ट के लिए आवेदन करना होगा। इसके माध्यम से उन्हें 40 स्थानों पर भटकने की आवश्यकता नहीं होगी। उनके व्यापार का रास्ता आसान होने के साथ ही राज्य में रोजगार और विकास के रास्ते भी खुलेंगे।
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