मोबाइल खराब हुआ तो शिकंजे में आए जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी

मोबाइल खराब होने के चलते ही देवबंद से पकड़े गए जैश के आतंकी एटीएस के शिकंजे में आए। इसके बाद एटीएस ने जाल बिछाते हुए आधी रात दोनों आतंकियों को हॉस्टल में धर दबोचा। पकड़े गए आतंकी शाहनवाज तेली ने अपना मोबाइल फोन खराब होने के चलते रिपयेरिंग को दिया था। उसके मोबाइल में आतंक से संबंधी क्लीपिंग देखी तो मदरसे के ही एक छात्र के माध्यम से मामला एटीएस तक जा पहुंचा।

जैश-ए-मोहम्मद के संगठन को बढ़ाने व अपने नापाक मसूंबों को पूरा कराने के लिए आतंकी हर कार्य को अंजाम दे रहे हैं। इसके लिए जैश-ए-मोहम्मद ने शाहनवाज तेली को युवाओं को भर्ती करने के लिए रखा हुआ था। शाहनवाज तेली सीधा सम्पर्क जैश-ए-मोहम्मद से करता था। आतंकी शाहनवाज तेली काफी लम्बे से हॉस्टल में रहकर आतंकी गतिविधि को अंजाम दे रहा था। लेकिन उधर सुरक्षा एजेंसियों ने भी अपने तार देवबंद से जोड़ रखे हैं, जिससे कोई भी हरकत उन तक जा पहुंचे।

देवबंद में चर्चा है कि कुछ दिनों पूर्व आतंकी शाहनवाज तेली का मोबाइल फोन खराब हो गया था। मोबाइल ठीक होने के बाद जब मैकेनिक ने फोन को चेक किया तो उसमें आतंकवाद संबंधी क्लिीपिंग व अन्य दस्तावेज देखे गए। मैकेनिक ने इस बात का जिक्र एक दूसरे छात्र से कर दिया। इसके बाद इसकी सूचना एटीएस को मिल गई। सूचना मिलते ही एटीएस ने पूरा जाल बिछाते हुए आधी रात को जैश के दोनों आतंकी शहनवाज तेली व आकिब अहमद मलिक को धर दबोचा। सूत्रों की माने तो एटीएस ने छापेमारी में सबसे पहले मोबाइल रिपेयर करने वाले से पूछताछ की थी। उसके बाद हॉस्टल पर छापेमारी की कार्रवाई हुई।

मोबाइल से खुलेंगे आतंकियों के राज
एटीएस की टीम ने हॉस्टल में छापेमारी के दोनों संदिग्धें समेत आसपास के कमरों में रह रहे दर्जनभर तलबा के मोबाइल कब्जे में ले लिए हैं। इसी के साथ आतंकियों व रिपेयरिंग मैकेनिक से लिए फोन को भी कब्जे में लिया गया है। सूत्रों के मुताबिक आतंकियों के राज मोबाइल फोन से खुलेंगे।

इस्लामी शिक्षा के लिए देश-विदेश में मशहूर देवबंद से कुख्यात आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के संदिग्ध आतंकी पकड़े गए हैं तो पुलवामा हमले के मास्टरमाइंड रहे गाजी और आदिल के तार भी खंगालना शुरू हो गया है। देश की सुरक्षा एजेंसियां इस बात का पता लगाने में जुट गई हैं कि पुलवामा विस्फोट कर जवानों को शहीद करने वाला आदिल और उसके बाद में मुठभेड़ में ढेर जैश रशीद गाजी उर्फ कामरान तो कहीं कथित भर्ती सेंटर स्थापित करने देवबंद में नहीं आए थे।

जैश-ए-मोहम्मद के दो संदिग्ध आतंकी गिरफ्तार होने के बाद देवबंद एक बार फिर सुर्खियों में आ गया है। देवबंद में अभी भी कई संदिग्ध होने की आशंका जताई जा रही है। इस कारण सामाजिक, राजनीतिक संगठनों से देवबंद में सर्च आपरेशन चलाए जाने पर की मांग को तेज कर दिया है। वहीं अफसरों की ओर से भी देवबंद में जल्द ही एक ऑपरेशन चलाए जाने के संकेत मिल रहे हैं, लेकिन अभी कोई भी अफसर खुलकर बोलने को तैयार नहीं है।

जैश-ए-मोहम्मद से संबंध रखने वाले संदिग्ध आतंकी एक माह तक खानकाह पुलिस चौकी के पास रहते रहे और पुलिस बेखबर सोती रही। आलम यह है कि खुफिया विभाग को भी एटीएस द्वारा की जा रही कार्रवाई की जानकारी अपने उच्चाधिकारियों से ही मिली। प्राइवेट हॉस्टल नाज मंजिल खानकाह पुलिस चौकी से मात्र 50 कदमों की दूरी पर है।

एटीएस की गिरफ्त में आए दो संदिग्धों के पकड़े जाने के बाद तलबा ही नहीं मदरसों का माहौल शनिवार को तनाव भरा गुजरा। प्राइवेट हॉस्टल नाज बिल्डिंग के तलबा जहां सदमे में हैं, वहीं एटीएस की गिरफ्त से छूट अपने अपने मदरसों में शनिवार को पहुंचे तलबा को उनके साथी ही शंका की नजरों से देखा गया। मदरसा प्रबंधकों ने भी उनसे खासी लंबी पूछताछ की। शनिवार को मदरसों के बड़े गेट बंद रहे तो तलबा के आने-जाने को तलबा ने मदरसों के छोटे गेट का ही इस्तेमाल किया। इतना ही नहीं, मदरसा संचालकों ने सभी तलबा को अपने कमरों या मस्जिद में ही रहने की हिदायत करते हुए उन्हें क्षेत्र से दूर ना जाने की हिदायत की।

कहने को नगर में खुफिया विभाग की कई इकाइयां कार्य कर रही हैं। लेकिन अधिकांश समय में यही देखने को आया कि नगर में बाहर से आकर एटीएस और एसटीएफ कार्रवाई कर चली जाती है और स्थानीय पुलिस प्रशासन उसके बाद जागता है। गुरुवार देर रात एटीएस की कार्रवाई के बाद पुलिस ने नगर के सभी हॉस्टल संचालकों को बुलाकर 15 दिनों में अपना रिकार्ड देने को कहा है। हालांकि, शनिवार को पुलिस और खूफिया विभाग ने हॉस्टल संचालकों को पुन: तीन दिनों में एकबार फिर उनके साथ मीटिंग के लिए आने का न्यौता दिया है। इसमें वह उन्हें जानकारी देंगे कि उन्हें किस तरह रिकार्ड बनाना है।

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com