हम सभी इस बात से वाकिफ हैं कि हिंदू धर्म में अनंत चतुर्दशी और गणेश विसर्जन को बहुत ही खास और महत्वपूर्ण होता है. ऐसे में अनंत चतुर्दशी पर पूरे धूमधाम से गणपति का विसर्जन करते हैं और दस दिनों तक गणपति की पूजा अर्चना और सेवा करते हैं. वहीं गणपति के जाने के बाद विसर्जन के समय भक्तों के लिए बहुत ही भावुक पल होता है.
इसी के साथ गणपति बप्पा की विदाई के समय भक्तों का मन भारी हो जाता हैं और विसर्जन के वक्त कुछ खास बातों का ध्यान रखना बहुत ही जरूरी होता है वरना बहुत बड़ा अपशकुन हो सकता है. कहते हैं विसर्जन के समय सबसे जयादा ध्यान रखने वाली बात यह होती हैं कि गणपति जी की प्रतिमा या उससे संबंधित किसी भी चीज को फेंके नहीं, बल्कि सभी सामग्री को पूरे सम्मान के साथ बारी बारी और धीरे धीरे विसर्जित करना चाहिए ऐसा करना शुभ माना जाता हैं.
इसी के साथ विसर्जन से पहले श्री गणेश की आरती जरूर करनी चाहिए और सेवा के दौरान हुई किसी भी चूक के लिए बप्पा से क्षमा मांग लेना चाहिए. इसी के साथ जिस चौकी पर गणपति विराजित किए थे उसका विशेष ध्यान रखना चाहिए. ध्यान रहे चौकी को गंगाजल से साफ कर उस पर स्वास्तिक अवश्य बनाएं और गणेश प्रतिमा के विर्सजन में शामिल होने जा रहे हैं तो किसी भी तरह के नशे का सेवन ना करें. इसी के साथ गणेश विसर्जन के दौरान मन शांत रखें और कोई भी बुरे काम को ना करें, क्योंकि इससे गणपति नाराज हो सकते हैं. इसी के साथ ध्यान रखें कि पूजा अर्चना का मकसद आत्मशुद्धि माना जाता है.