मानुषी छिल्लर अब तक चार फिल्मों में काम कर चुकी हैं लेकिन हिट के लिए अब तक तरस रही है। एक्ट्रेस सम्राट पृथ्वीराज द ग्रेट इंडियन फैमिली ऑपरेशन वैलेंटाइन और हालिया रिलीज फिल्म बड़े मियां छोटे मियां में बतौर लीड काम कर चुकी हैं। उनकी चौथी फिल्म BMCM बड़े बजट और बड़े स्टार कास्ट वाली फिल्म है। फिर भी ये बॉक्स ऑफिस पर फुस्स हो गई।
मानुषी छिल्लर के लिए फिल्म इंडस्ट्री में जगह बना पाना मुश्किल हो रहा है। अब तक एक्ट्रेस की चार फिल्म रिलीज हो चुकी है, लेकिन सभी बॉक्स ऑफिस पर औंधे मुंह गिर पड़ीं। इनमें सम्राट पृथ्वीराज, द ग्रेट इंडियन फैमिली, ऑपरेशन वैलेंटाइन और हालिया रिलीज फिल्म ‘बड़े मियां छोटे मियां’ शामिल है। मानुषी छिल्लर की चौथी फिल्म हाइप के बावजूद पट गई।
‘बड़े मियां छोटे मियां’ को लेकर मेकर्स ने कई बड़े दांवे किए थे। हालांकि, रिलीज के बाद ही ये बॉक्स ऑफिस पर फुस्स हो गई। लगभग 350 करोड़ के बजट में बनी ‘बड़े मियां छोटे मियां’ अब तक महज 55 करोड़ कमा पाई है। ऐसे में फिल्म की असफलता पर मानुषी छिल्लर ने अपनी चुप्पी तोड़ी है।
मानुषी की कड़ी मेहनत
मानुषी छिल्लर ने ‘बड़े मियां छोटे मियां’ के फेलियर से सीख लेने की बात कही और ये भी बताया कि इस असफलता में वो खुद को कैसे संभाल रही हैं। जूम के साथ बातचीत में एक्ट्रेस ने कहा, ”मैंने मन में सोचा कि अरे, मेरी लाइफ में बहुत कुछ रातोंरात हुआ है। ऐसा नहीं है कि मैंने इसके लिए कड़ी मेहनत नहीं की है। मैं सोचती थी कि अगर मैं फोक्स्ड और डेडीकेटेड रहूंगी, तो मुझे यकीन है कि मुझे इससे कुछ न कुछ मिलेगा और मैंने हर चीज से कुछ न कुछ हासिल किया है।”
फेलियर से कैसे किया डील
एक्ट्रेस ने आगे कहा, “एक एक्टर के तौर पर आप चाहते हैं कि आपकी फिल्में अच्छा करें। आप चाहते हैं कि लोग आपको देखें, आपको पसंद करें, फिल्म पसंद करें और एंटरटेन हो, अच्छा समय बिताएं और उन्हें अच्छा लगे। कई बार ऐसा नहीं होता जो कि पूरी तरह से नॉर्मल बात है। ये ऐसी चीज है, जिसके साथ मैंने अपने मन को शांत कर लिया।”
बॉक्स ऑफिस पर नहीं है कंट्रोल
मानुषी छिल्लर ने काम के बारे में बात करते हुए कहा, “मेरे लिए एकमात्र चीज ये है कि मुझे अच्छा काम करना है और नई चीजों को एक्सप्लोर करना है। मैं ये भी चाहती हूं कि फिल्ममेकर मुझे स्क्रीन पर कुछ करते हुए देखें। मुझे लगता है कि यही मेरी सीख थी। बॉक्स ऑफिस नंबर एक ऐसी चीज है, जिस पर एक एक्टर के तौर पर आपका कोई नियंत्रण नहीं होता है। इसलिए जिस चीज पर मेरा कंट्रोल नहीं होता, मैं उसके बारे में ज्यादा नहीं सोचता।”