कश्मीर में प्रदर्शनकारियों और सुरक्षा बलों के बीच झड़पों में मंगलवार को कम से कम चार व्यक्ति घायल हो गए. श्रीनगर और राज्य के कुछ अन्य हिस्सों में पूरी तरह से बंद रहा. अधिकारियों ने यह जानकारी दी. ये घटनाएं ऐसे समय में हुई हैं जब यूरोपीय संघ के 23 सांसदों का एक शिष्टमंडल जम्मू-कश्मीर का विशेष राज्य का दर्जा खत्म होने के बाद स्थिति का आकलन करने के लिए यहां पहुंचा है.
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि प्रदर्शनकारियों और सुरक्षा बलों के बीच श्रीनगर और कश्मीर के कई हिस्सों में झड़पें हुईं, जिनमें चार लोग घायल हो गए.
अधिकारियों ने बताया कि झड़पों के कारण बाजार बंद रहे, जबकि परिवहन सड़क से नदारद रहे. हालांकि, दसवीं कक्षा के लिए बोर्ड परीक्षाएं निर्धारित समय के अनुसार ही आयोजित की जा रही हैं. परीक्षा हॉल के बाहर अपने बच्चों का इंतजार कर रहे माता-पिता चिंतित नजर आए.
इकबाल पार्क में एक परीक्षा हॉल के बाहर इंतजार कर रहे अरशद वानी ने कहा, ”बच्चों की परीक्षा के लिए स्थिति अभी अनुकूल नहीं है. सरकार को आज का पेपर स्थगित कर देना चाहिए था.” उन्होंने कहा कि समाज के लिए बच्चों की सुरक्षा सर्वोपरि होनी चाहिए.
पिछले तीन महीनों में स्कूल खोलने के प्रशासन के प्रयासों का कोई असर नहीं हुआ है क्योंकि अभिभावकों ने सुरक्षा की आशंकाओं के कारण बच्चों को घर पर ही रखा है. घाटी में लैंडलाइन और पोस्टपेड मोबाइल फोन सेवाएं बहाल की जा चुकी हैं लेकिन सभी इंटरनेट सेवाएं पांच अगस्त के बाद से निलंबित ही हैं. केंद्र सरकार ने जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान पांच अगस्त को हटा लिए थे और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में बांटने का ऐलान किया था.