इंदौर मेट्रो के प्रायोरिटी कॉरिडोर पर संचालन के लिए मध्यप्रदेश मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन ने अपनी तैयारियों में तेजी ला दी है। हालांकि इंदौर मेट्रो के कॉमर्शियल रन की तारीख अभी तय नहीं हुई है, लेकिन यह लगभग तय हो गया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसे हरी झंडी दिखाएंगे। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, पीएम मोदी 20 मई को वर्चुअली शामिल होकर मेट्रो को हरी झंडी दिखा सकते हैं। फिलहाल सरकार और मेट्रो रेल कॉरपोरेशन की ओर से इस बारे में कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया गया है। सीएमआरएस (कमिश्नर ऑफ मेट्रो रेलवे सेफ्टी) की टीम पहले ही मेट्रो को हरी झंडी दे चुकी है और ओके रिपोर्ट सौंप दी है।
प्रायोरिटी कॉरिडोर पर एक साथ दोनों दिशाओं में चलेगी मेट्रो
मेट्रो रेल कॉरपोरेशन के अनुसार, इंदौर मेट्रो की शुरुआत प्रायोरिटी कॉरिडोर पर गांधी नगर से स्टेशन नंबर 3 तक होगी। इस दौरान मेट्रो दोनों तरफ से 25-25 फेरे लगाएगी, यानी कुल 50 ट्रिप होंगी। मेट्रो का संचालन गांधी नगर स्टेशन और सुपर कॉरिडोर स्टेशन नंबर 3 से एक साथ किया जाएगा। सुबह 8 बजे से मेट्रो दोनों दिशाओं में चलना शुरू करेगी और रात 8 बजे तक चलेगी। कॉमर्शियल रन के दौरान हर 30 मिनट के अंतराल पर एक मेट्रो कोच सेट का संचालन किया जाएगा, जिसकी समयावधि यात्रियों की संख्या के अनुसार घटाई-बढ़ाई जा सकेगी।
किराया तय: 5 जोन, न्यूनतम 20 और अधिकतम 80 रुपए
मेट्रो रेल कॉरपोरेशन ने किराये को पांच जोन में विभाजित किया है, जिसके अंतर्गत इंदौर मेट्रो के कुल 28 स्टेशन आएंगे। मेट्रो का न्यूनतम किराया 20 रुपए जबकि अधिकतम 80 रुपए तय किया गया है। हालांकि शुरुआत में जो प्रायोरिटी कॉरिडोर चालू होगा, उसमें न्यूनतम किराया 20 रुपए और अधिकतम किराया 30 रुपए रखा गया है। किराया निर्धारण जोन के आधार पर किया गया है जिससे यात्रियों को दूरी के हिसाब से भुगतान करना होगा।
फाइनल निरीक्षण मार्च में, हर स्टेशन पर 2-5 मिनट में पहुंचेगी मेट्रो
इंदौर मेट्रो के यलो लाइन प्रायोरिटी रूट की कुल लंबाई 5.9 किलोमीटर है, जिसमें पांच स्टेशन शामिल हैं। कॉमर्शियल रन के दौरान मेट्रो हर स्टेशन पर सिर्फ 2 से 5 मिनट के अंतराल में पहुंचेगी। वर्तमान में मेट्रो की टेस्टिंग मेट्रो डिपो से सुपर कॉरिडोर स्टेशन नंबर 3 तक दिन-रात की जा रही है। सीएमआरएस द्वारा 24-25 मार्च को मेट्रो का अंतिम निरीक्षण किया गया था। सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर में गांधी नगर स्टेशन से लेकर टीसीएस चौराहा तक कुल पांच स्टेशन तैयार हैं, जिनमें सभी आधुनिक सुविधाएं जैसे लिफ्ट, एस्कलेटर, प्लेटफॉर्म और इलेक्ट्रिकल सेक्शन उपलब्ध कराए जा चुके हैं। ट्रेन को न्यूनतम और अधिकतम गति पर चलाकर भी जांच की जा चुकी है।