एमेच्योर कुश्ती एसोसिएशन ने केंद्रीय खेल मंत्री को पत्र लिखा है। दो टीमें भेजने की अनुमति मिलने से उत्कृष्ट खिलाड़ियों को मौका दिया जा सकता है। भारतीय कुश्ती महासंघ के पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण सिंह शरण ने अपने कार्यकाल में इस पर पाबंदी लगा दी थी।
कुश्ती में जारी रार के बीच हरियाणा एमेच्योर कुश्ती एसोसिएशन ने केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर के नाम पत्र लिखकर नेशनल में टॉप-3 पर रहने वाली टीमों को अगली राष्ट्रीय प्रतियोगिता में दो टीमें उतारने की अनुमति देने की मांग की है। भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष रहे बृजभूषण शरण सिंह के कार्यकाल से पहले यह प्रावधान था, लेकिन बृजभूषण के कार्यकाल के दौरान इस पर पाबंदी लगा दी थी। अब फिर से वही प्रावधान लागू करने की मांग की जा रही है।
केंद्रीय खेल मंत्री के नाम लिखे पत्र में हरियाणा एमेच्योर कुश्ती एसोसिएशन के प्रधान रोहताश ने लिखा है कि कुश्ती ग्रामीण और आम आदमी का खेल है। विशेषकर उत्तर भारत में यह बेहद लोकप्रिय खेल है। कई वर्ष पहले प्रत्येक राष्ट्रीय प्रतियोगिता में शीर्ष रहने वाली तीन टीमों को अगले वर्ष नेशनल में दो टीमें उतारने की अनुमति दी जाती थी।
बाद में डब्ल्यूएफआई के पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह ने इस नियम को बदल दिया था। इसके कारण रेलवे, हरियाणा, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, सर्विसेज के बहुत से पहलवानों को मौका नहीं मिल पाता था। अब पहले का प्रावधान फिर लागू किया जाना चाहिए।
खिलाड़ियों के हित को देखते हुए खेल मंत्रालय को इस संबंध में फैसला लेना चाहिए। आगामी राष्ट्रीय प्रतियोगिताएं राजस्थान के जयपुर में होनी हैं। इन प्रतियोगिताओं से ही यह निर्णय शुरू किया जाना चाहिए।
कुश्ती को बढ़ावा देने के लिए नेशनल में टॉप-3 टीम को अगली राष्ट्रीय प्रतियोगिता में अपनी दो टीमें उतारने की अनुमति देना पहलवानों के लिए बेहतर निर्णय साबित होगा। हरियाणा एमेच्योर कुश्ती एसोसिएशन ने कुश्ती की भलाई के लिए इस नियम को लागू करने की मांग की है। – रवींद्र छिक्कारा, सचिव, हरियाणा एमेच्योर कुश्ती एसोसिएशन।