सुदूर अंतरिक्ष में नासा के इनसाइट मार्सलैंडर की मॉनिटरिंग करने के लिए भेजे गए दुनिया के पहले मिनी सैटेलाइट्स सफलतापूर्वक मंगल यानी लाल ग्रह की ओर बढ़ रहे हैं। यह जानकारी नासा ने दी है। बता दें कि पिछले महीने 5 मई को ही नासा ने अपना मार्सलैंडर स्पेसक्राफ्ट और दो मिनी सैटेलाइट्स (CubeSats) साथ में लॉन्च किए थे। यह सभी इस साल 26 नवंबर को मंगल ग्रह पर पहुंचेंगे। नासा के महत्वपूर्ण स्पेस मिशन में मार्सलैंडर स्पेस इक्यूपमेंट को सही तरह से मंगल ग्रह तक पहुंचाने के लिए साथ में भेजे गए दो CubeSats (MarCO-A और MarCO-B) पिछले हफ्ते से लगातार कोशिश कर रहे थे। फाइनली इन दोनों ने मार्सलैंडर को मंगल ग्रह की ओर ठीक से प्रोजेक्ट कर दिया है। इस प्रक्रिया को डायरेक्टरी करेक्शन मनूवर कहते हैं। इनका काम है स्पेसक्राफ्ट को सही दिशा में आगे बढ़ने में मदद करना।
यह जानने वाली बात है कि नासा के इस स्पेस मिशन में भेजे गए मार्स इनसाइट मार्सलैंडर तो मंगल ग्रह पर उतरकर इस ग्रह की सतह की गहन छानबीन करेगा, लेकिन यह दोनों मिनी सैटेलाइट मंगल ग्रह पर लैंड नहीं करेंगे बल्कि यह इनसाइट लैंडर को धरती से संपर्क बनाए रखने में मदद करेंगे। वास्तव में ये दोनों मिनी सैटेलाइट मंगल ग्रह के आसमान पर चक्कर लगाएंगे। इसके लिए उनमें छोटे आकार के प्रपल्शन इक्यूपमेंट लगाए गए हैं। ताकि कम वजन के साथ ये आसानी से मंगल ग्रह का चक्कर लगा सकें साथ ही साथ इनसाइट मार्सलैंडर के साथ संपर्क बना सकें। नासा के मुताबिक इन दोनों को मार्स पर भेजने का उद्देश्य वहां से किसी साइंटिफिक डाटा को कलेक्ट करना नहीं है, बल्कि कम्युनिकेशन और नेविगेशन सैटेलाइट के तौर पर यह दोनों भविष्य में धरती से किसी अन्य ग्रह को भेजे गए स्पेस क्राफ्ट या CubeSats को सही रास्ता दिखाने में मदद करेंगे।
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