उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में जहरीली शराब से हुई मौतों से हड़कंप मच गया है। अबतक यूपी के सहारनपुर, कुशीनगर और उत्तराखंड में कुल 98 लोगों की मौत हो चुकी है। कई का अस्पतालों में इलाज चल रहा है। हरिद्वार में परोसी गई शराब में नशा बढ़ाने के लिए चूहा मारने की दवा मिलाने की आशंका है। जहरीली शराब से अकेले सहारनपुर 35 मौतें हुई हैं, जबकि 18 ने मेरठ में इलाज के दौरान दम तोड़ा। हरिद्वार में 34 और कुशीनगर में 11 मौतें हुई हैं। मरने वाले ज्यादातर वे लोग हैं, जो हरिद्वार के बालूपुर गांव में एक तेरहवीं संस्कार में शामिल होने गए थे और वहीं पर उन्होंने शराब पी थी।
175 गिरफ्तार, 297 मुकदमे दर्ज
सहारनपुर और कुशीनगर में जहरीली शराब पीने से हुई मौतों के बाद उत्तर प्रदेश सरकार के निर्देश पर चलाए जा रहे विशेष अभियान में चौबीस घण्टों के दरम्यान अवैध शराब बनाने व बेचने के मामले में कुल 297 मुकदमे दर्ज किए गए। साथ ही 175 लोगों को गिरफ्तार किया गया। पुलिस और आबकारी विभाग द्वारा संयुक्त रूप से चलाए गए इस अभियान में 9269.7 लीटर अवैध शराब और 47700 किलोग्राम अवैध शराब बनाने में प्रयुक्त होने वाली कच्ची सामग्री (लहन) बरामद किया गया।
यूपी सरकार ने लापरवाही के आरोप में नागल थाना प्रभारी सहित दस पुलिसकर्मी, आबकारी विभाग के तीन निरीक्षक और दो कांस्टेबल को निलंबित किया है। जबकि उत्तराखंड सरकार ने आबकारी विभाग के 13 कर्मचारी और चार पुलिसकर्मियों को निलंबित करने का आदेश दिया है। उत्तरप्रदेश पुलिस ने बताया कि एक व्यक्ति संभवत: 30 पाउच शराब सहारनपुर लेकर आया था। इससे मौतों की संख्या और बढ़ने की आशंका है। हालांकि, इसकी पुष्टि की जा रही है।
देर रात तक चली कार्रवाई
यूपी के मुख्य सचिव और डीजीपी ने देर रात वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये सभी जिलाधिकारियों व पुलिस प्रमुखों से अवैध शराब के खिलाफ अभियान चलाने का निर्देश दिया। इसके बाद दर्जनों जिलों में अवैध शराब के खिलाफ छापेमारी की कार्रवाई की गई।
राहत देने का प्रयास
उत्तराखंड सरकार ने मृतकों के परिजनों को दो-दो लाख रुपये और अस्पताल में भर्ती लोगों को 50-50 हजार रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है। यूपी सरकार पहले ही मदद का ऐलान कर चुकी है।