खेती के संकट और किसानों की कर्जमाफी के मुद्दे पर बीजेपी की अगुवाई वाली केंद्र और राज्य सरकारों को घेरने के लिए कांग्रेस की अगुवाई में विपक्ष ने कमर कस ली है. मोदी सरकार के खिलाफ एकजुट विपक्ष ने अगली लड़ाई के लिए गाजियाबाद के मंडोला गांव को अखाड़े के रूप में चुना है.
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने मध्य प्रदेश में ही इस बात की घोषणा कर दी थी कि वे इस लड़ाई की अगुवाई करेंगे और किसानों की कर्जमाफी के लिए बीजेपी की सरकारों पर दबाव बनाएंगे.
मुख्य विपक्षी पार्टी का थिंक टैंक किसानों के मुद्दे पर ‘जनांदोलन’ खड़ा करने के लिए पहले से ही रणनीति बना रहा है. कांग्रेस के लिए इस जनांदोलन का मकसद किसानों की परेशानियों को दूर करना है.
मुआवजे के लिए प्रदर्शन कर रहे मंडोला के किसान
ऐसा लगता है कि किसानों के लिए अगली लड़ाई राहुल गांधी के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश में गाजियाबाद के मंडोला गांव में लड़ी जाएगी. मंडोला में किसान अपनी जमीन के मुआवजे के लिए प्रदर्शन कर रहे हैं.
जदयू नेता केसी त्यागी ने कहा कि मंडोला के किसानों की मांग पूरा करने के लिए हमने प्रशासन और राज्य सरकार को सोमवार तक का समय दिया है. अगर ऐसा नहीं होता है तो विपक्ष के शीर्ष नेता किसानों के साथ मंडोला में महापंचायत करेंगे. कांग्रेस पार्टी के सूत्रों के मुताबिक विपक्ष के शीर्ष नेताओं में कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी का नाम भी है.
कांग्रेस के साथ कदमताल करेगा विपक्ष
सूत्रों के मुताबिक इस महापंचायत में राहुल गांधी किसानों के मुद्दे पर बीजेपी सरकार के खिलाफ हमले और गोलबंदी की शुरुआत करेंगे. इसके बाद इस लड़ाई को पूरे देश में ले जाने की जिम्मेदारी कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं को दे दी जाएगी.
दूसरी ओर विपक्ष के नेता इस लड़ाई में कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी का साथ देंगे. इसकी झलक मध्य प्रदेश के मंदौसर में मिल चुकी है, जहां जदयू के शरद यादव कांग्रेस नेताओं के साथ कदम से कदम मिलाकर चल रहे थे.
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