चंडीगढ़ में एक बैंक अधिकारी ने बताया कि नोटबंदी के बाद सरकार ने ऑनलाइन ट्रांसजेक्शन पर काफी जोर दिया है। ऐसे में दो अलग अलग बैंकों में खाता खोलकर ही अपने पैसे को सुरक्षित रख सकते हैं। मसलन, आप एक प्राइमरी खाता रखें और दूसरा, सेकेंडरी।
ज्यादातर पैसा प्राइमरी बैंक खाते में ही जमा रखें और ऑनलाइन ट्रांजेक्शन में इसका इस्तेमाल न करें। न ही प्राइमरी खाते के एटीएम का ज्यादा उपयोग करें। जब भी जरूरत हो, प्राइमरी खाते से सैकेंडरी खाते में फंड ट्रांसफर कर लें और उसका उपयोग करें।
बैंकों ने एटीएम से सिर्फ 5 ट्रांजैक्शन और दूसरे बैंक के एटीएम से 3 ट्रांजैक्शन की लिमिट तय कर दी हैं। ऐसे में कई अकाउंट होने से फ्री ट्रांजैक्शन की सुविधा मिल जाती है। अगर दो बैंक में अकाउंट हैं तो एटीएम से 10 बार फ्री ट्रांजैक्शन कर सकते हैं। किसी एक बैंक का नेटवर्क फेल हो तो आप दूसरे बैंक के एटीएम या ऑनलाइन बैंकिंग का इस्तेमाल कर पाते हैं।
अगर कोई बैंक कम ब्याज ऑफर कर रहा है तो आप अपने पैसे को दूसरे बैंक में ट्रांसफर कर अधिक ब्याज ले सकते हैं। दूसरी बैंक से अधिक ब्याज का लाभ ले सकते हैं। अगर आपके पास एक से अधिक बैंक एकाउंट है तो आप कई शानदार स्कीम का लाभ उठा सकते हैं, जिनमें सालाना प्रीमियम पर पर्सनल एक्सीडेंट कवर आदि शामिल है। अकाउंट होने से चेक बुक की संख्या बढ़ जाती है। इसके साथ ही बैंक अपने अकाउंट होल्डर को क्रेडिट कार्ड ऑफर करते हैं। आपके पास एक से अधिक क्रेडिट कार्ड सेलेक्ट करने का ऑप्शन होता है।