उज्जैन शहर के फिल्मकार देवांश भट्ट द्वारा महिला सुरक्षा पर आधारित फिल्म ‘Groped’ को टॉप 100 फिल्मों का खिताब मिला है। मुंबई शहर में आयोजित हुए दादासाहेब फाल्के अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में विश्व भर के 60 से अधिक देशों की 10,000 से ज्यादा फिल्मों की सहभागिता हुई थी, जिसमें टॉप 100 फिल्मों में Groped का चयन हुआ।
महिला सुरक्षा और महिला सशक्तिकरण को दर्शाती इस फिल्म को देवांश भट्ट फिल्म्स, प्रथमेश सांजेकर फिल्म्स और पार्थ प्रोडक्शन द्वारा बनाया गया। देवांश ने अमर उजाला को बताया कि इस फिल्म को लेकर हमने 2021 में तैयारी शुरू कर दी थी। साल भर तक फिल्म लिखने के बाद वर्ष 2022 जुलाई में इसकी शूटिंग की शुरुआत की गई, जिसके बाद दिसंबर अंत तक फिल्म तैयार हो पाई। यह फिल्म सत्य घटनाओं पर आधारित है।
फिल्म के बारे में देवांश ने बताया कि Groped में हमने महिला सुरक्षा के बारे में यह बताने की कोशिश की है कि जब महिलाएं मेहनत कर आगे बढ़ती हैं तो उन्हें लोगों की गंदी मानसिकता का किस प्रकार सामना करना पड़ता है। उनकी सच्ची मेहनत और प्रयास को अनदेखा कर किस प्रकार से उनके साथी और समाज उनकी उपलब्धि के गलत मायने ही निकालता है। देवांश ने बताया कि इस डॉक्यूमेंट्री फिल्म के पहले मैंने धार्मिक फिल्मों पर काफी कार्य किया है। लेकिन जब फिल्म के डायरेक्टर प्रथमेश सांजेकर महिला सुरक्षा पर आधारित इस फिल्म की कहानी लेकर मेरे पास पहुंचे तो फिल्म की कहानी पढ़ने के बाद हमने सबसे पहले मुंबई व अन्य बड़े शहरों में होने वाली महिलाओं के साथ छेड़छाड़ और फिल्म में दिखाई जा रही बातों को देखा और उसके बाद इस सच्चाई से सभी को रूबरू कराने के लिए इस फिल्म को बनाया।
पुणे एवं मुंबा फिल्म फेस्टिवल में मिल चुका है अवार्ड
देवांश इसके पहले भी इंटरनेशनल अवार्ड जीत चुके हैं। इनके पिताजी स्वर्गीय भूषण भट्ट प्रख्यात रंगकर्मी थे। फिल्म को इसके पहले भी पुणे शॉर्ट फिल्म फेस्टिवल एवं मुंबा फिल्म फेस्टिवल में अवार्ड मिल चुका है। फिल्म Groped की शुटिंग पुणे शहर में हुई है, जिसके लेखक एवं निर्देशक प्रथमेश सांजेकर हैं एवं फिल्म के डायरेक्टर ऑफ फोटोग्राफी (DOP) देवांश भट्ट हैं। प्रोड्यूसर पार्थ सूर्यवंशी हैं। फिल्म का शूट सात दिन तक चली, जिसमें मराठी फिल्म इंडस्ट्री के प्रख्यात कलाकार विकास हांडे, अश्विनी बागल और मंगेश पवार ने अभिनय किया है।