अब तक सिर्फ गेहूं मिला
कांग्रेस ने सत्ता में आने के बाद लाभपात्रों को गेहूं, दाल के साथ चीनी और चाय की पत्ती देने का एलान किया था। लेकिन आर्थिक तंगी से जूझ रही सरकार अब तक सिर्फ गेहूं ही दे सकी है। एक लाभपात्री को हर महीने पांच किलो गेहूं दो रुपये प्रति किलो के हिसाब से दिया जाता है। एक बार में छह माह का गेहूं दिया जा रहा है।
बायो-मीट्रिक पहचान से राशन वितरण का पायलट प्रोजेक्ट मोहाली में सफल रहा है। 31 मार्च तक इसे पूरे पंजाब में लागू कर दिया जाएगा।