अगर गलती से टूट जाए जन्माष्टमी का व्रत, तो करें ये अचूक उपाय

जन्माष्टमी का व्रत (Shri Krishna Janmashtami 2025) हिंदू धर्म में बेहद शुभ माना गया है। इस दिन को लेकर कई सारे नियम बनाए गए हैं जिसका पालन हर किसी को करना चाहिए। साथ ही दान-पुण्य करना चाहिए। हिंदू पंचांग के अनुसार इस साल श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पर्व 15 अगस्त को मनाया जा रहा है। वहीं वृंदावन में यह पर्व 16 अगस्त को मनाया जाएगा।

हिंदू धर्म में जन्माष्टमी का व्रत बहुत महत्वपूर्ण माना गया है। यह व्रत न केवल आस्था का प्रतीक है, बल्कि इससे शरीर, मन और आत्मा की शुद्धि भी होती है। हालांकि कई बार भक्तों से अनजाने में यह व्रत खंडित हो जाता है। ऐसे में मन में यह सवाल उठता है कि क्या अब व्रत का फल मिलेगा या नहीं? अगर गलती से आपका जन्माष्टमी का व्रत (Shri Krishna Janmashtami 2025) टूट जाए, तो परेशान होने की बिल्कुल जरूरत नहीं है, बस यहां दिए गए कुछ अचूक उपाय कर लें, जिससे व्रत का पूरा फल मिल सके।

व्रत टूटने पर क्या करें?
कई बार भक्तों से अनजाने में व्रत टूट जाता है और अनजाने में हुई कोई गलती होने से भगवान कभी भी गुस्सा नहीं होते हैं। वे अपने भक्तों के सभी पापों को क्षमा करते हैं। इसलिए मन में किसी भी प्रकार का अफसोस या दुख न रखें। भगवान कृष्ण दयालु और क्षमाशील हैं। वे जानते हैं कि आपका इरादा ऐसा नहीं था।

करें ये उपाय (Do This Remedies)
क्षमा मांगे – अगर आपसे अनजाने में व्रत टूटा है, तो सबसे पहले भगवान कृष्ण से हाथ जोड़कर क्षमा मांगें। मन ही मन अपनी गलती स्वीकार करें और उनसे प्रार्थना करें कि वे आपको क्षमा करें और आपके व्रत का फल दें।
तुलसी दल का सेवन करें – अगर आपने कुछ खा लिया है, तो उसके बाद आप तुलसी दल का सेवन कर सकते हैं। तुलसी को हिंदू धर्म में बहुत पवित्र माना गया है और यह हर तरह के दोष को दूर करने में सहायक होती है।
भगवान का नाम लें – व्रत टूटने के बाद भी आप लगातार ‘हरे कृष्णा हरे कृष्णा, कृष्णा कृष्णा हरे हरे’ जैसे महामंत्र का जाप करते रहें। ऐसा करने से मन शुद्ध होता है और भगवान के प्रति आपकी आस्था बनी रहती है।
दान-पुण्य करें – व्रत टूटने के बाद आप किसी गरीब या जरूरतमंद व्यक्ति को भोजन करा सकते हैं या वस्त्र दान कर सकते हैं। दान-पुण्य करने से आपकी गलती का प्रायश्चित होता है और भगवान की कृपा बनी रहती है।
व्रत का संकल्प फिर से लें – अगर संभव हो, तो आप व्रत के बाकी बचे हिस्से के लिए फिर से संकल्प ले सकते हैं। इससे मुरलीधर की कृपा मिल सकती है।

जन्माष्टमी 2025 का महत्व (Shri Krishna Janmashtami 2025 Significance)
श्री कृष्ण जन्माष्टमी पर्व का अपने आप में बहुत बड़ा महत्व (Shri Krishna Janmashtami 2025 Importance) है। इस दिन भगवान विष्णु के आठवें अवतार श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था। जन्माष्टमी का व्रत करने से भगवान कृष्ण का आशीर्वाद प्राप्त होता है। इसके साथ ही संतान सुख और जीवन में सुख-शांति आती है।

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