ऊर्जा बनाए रखने के लिए चीनी का सेवन जरूरी है. लेकिन अधिक चीनी आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है. पर इन दिनों चीनी ज्यादा खाने के कारण कई तरह की बीमारियों के जोखिम की बात सामने आ रही है. जानिए आखिर क्यों और कितनी चीनी हो सकती है सेहत के लिए नुकसानदायक.

क्या है चीनी
चीनी एक कार्बोहाइड्रेट है. हमारे आहार में ऊर्जा का 50-60% कार्बोहाइड्रेट से आता है. कार्बोहाइड्रेट सरल और जटिल होते हैं. सरल कार्बोहाइड्रेट में ग्लूकोज (फलों और सब्जियों में मौजूद), सुक्रोज (सफेद चीनी), फ्रक्टोज (फलों और सब्जियों में मौजूद), लैक्टोज (दूध में मौजूद) शामिल हैं. जबकि जटिल कार्बोहाइड्रेट में स्टार्च, संशोधित स्टार्च और आहार फाइबर के विभिन्न रूप शामिल हैं. जटिल कार्बोहाइड्रेट में शर्करा अपेक्षाकृत कम होती है.
शरीर के लिए जरूरी है चीनी
एक ग्राम कार्बोहाइड्रेट 4 किलो कैलोरी ऊर्जा देता है. सरल शर्करा हमारे शरीर में सीधे अवशोषित होते हैं और ऊर्जा प्रदान करते हैं. जबकि जटिल कार्बोहाइड्रेट को शरीर में विखंडित होने के लिए अपेक्षित एंजाइमों की जरूरत होती है और उसके बाद ही अवशोषित होते हैं.  
कितनी चीनी है जरूरी 
डब्लूएचओ के दिशानिर्देशों के अनुसार, कार्बोहाइड्रेट से ऊर्जा का 5% शर्करा से आना चाहिए, जो प्रति दिन लगभग 25 ग्राम (6 चम्मच) हो सकता है. अध्ययनों से पता चला है कि चीनी का अधिक उपभोग का परिणाम अतिसक्रियता, ज्यादा खाना, खाने की अधिक इच्छा और परिवर्तित मानसिक क्रिया-कलाप होते हैं. 
हानिकारक है इस तरह की मिठास 
जब हम चीनी के नकारात्मक प्रभाव के बारे में बात करते हैं, तो हमारा मतलब मूल रूप से परिष्कृत या संसाधित चीनी से है. हमारे भोजन में चीनी की भूमिका मिठास प्रदान करना है. इसके अलावा, वे जैम, जेली और सॉस में प्रिजरवेटिव के रूप में उपयोग किये जाते हैं. चीनी बेकरी उत्पादों जैसे विभिन्न प्रकार के खाद्य पदार्थों की संरचना बनाता है. इस्तेमाल किये गये चीनी के रूप के आधार पर गुण बदल जाते हैं.
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