चुनावों के नज़दीक आते ही केंद्र और राज्य सरकारें अपनी-अपनी आवाम के लिए नई योजनाएं लेकर आ रही हैं, ताकि जनता के दिल में बसी सरकार की नकारात्मक छवि मिट सके और आगामी चुनाव में फिर जनता उनपर विश्वास कर ले. इसी कड़ी में अब पीएम मोदी द्वारा एक योजना ले जा रही है जो सामाजिक सुरक्षा के लिए होगी, सबसे बड़ी बात तो यह है कि इस योजना का लाभ लगभग 50 करोड़ लोग पा सकेंगे.
प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) ने यूनिवर्सल सोशल सिक्योरिटी से जुड़े श्रम मंत्रालय के ऐसे प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है, इसके दायरे में कृषि क्षेत्र में काम करने वाले कामगार भी आएंगे. इससे पहले पीएम मोदी अपनी छत्तीसगढ़ यात्रा के दौरान आयुष्मान भारत योजना का लोकार्पण कर चुके हैं. जिसमे नेशनल हेल्थ प्रोटेक्शन स्कीम के तहत 10 करोड़ निर्धन लोगों को 5-5 लाख का हेल्थ कवर दिया जाएगा. एक खबर के अनुसार वित्त और श्रम मंत्रालय मिलकर इस योजना पर कार्य करेंगे, जिसके अंतर्गत पेंशन (डेथ व डिसएबिलिटी दोनों) और मैटरनिटी कवरेज के साथ ऑप्शनल मेडिकल, बीमारी और बेरोजगारी कवरेज भी दिया जाएगा.
इस यूनिवर्सल सोशल सिक्योरिटी स्कीम को 10 वर्षों में, तीन अलग-अलग चरणों में लागू किया जाएगा. पहले चरण में सभी कामगारों को मामूली कवरेज दिया जाएगा, जिसमें हेल्थ सिक्योरिटी और रिटायरमेंट बेनेफिट्स होंगे. दूसरे चरण में बेरोजगारी के लिए बेनिफिट जोड़े जाएंगे. तीसरे चरण में दूसरी कल्याणकारी योजनाओं को शुरू किया जा सकता है. ऐसा इसलिए होगा क्योंकि इतने बड़े स्तर पर योजना को लागू करने के लिए सरकार को बहुत अधिक धन की आवश्यकता होगी. इसके पहले चरण को लागू करने के लिए ही सरकार को अनुमानित 2 लाख करोड़ रुपये की जरूरत होगी, इसलिए सरकार अगले 10 वर्षों में फण्ड आवंटित होने के साथ ही इस योजना को पूरी तरह लागू करेगी.