नई दिल्ली। देश का सबसे स्वच्छ शहर जहां मध्य प्रदेश के इंदौर को घोषित किया गया है, वहीं सबसे गंदा शहर उत्तर प्रदेश के गोंडा को पाया गया है। साफ सुथरे शहरों में सबसे अधिक मध्य प्रदेश की शहरी निकायों ने बाजी मारी है।
स्वच्छ सर्वेक्षण-2017
स्वच्छ सर्वेक्षण-2017 में देश के कुल 434 शहरों की स्वच्छता को निर्धारित मानकों पर परखा गया, जिसके नतीजे गुरुवार को घोषित किए गए। केंद्रीय शहरी विकास मंत्री एम. वेंकैया नायडू ने स्वच्छता के क्षेत्र में उम्दा और घटिया प्रदर्शन करने वाले शहरों की अलग-अलग सूची जारी करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश, बिहार और पंजाब के शहरों की हालत बहुत अच्छी नहीं है।
जारी रैंकिंग की टॉप टेन (शीर्ष दस) सूची में इंदौर के बाद भोपाल, विशाखापट्टनम, सूरत, मैसूर, तिरुचिरापल्ली, नई दिल्ली म्यूनिसिपल काउंसिल (एनडीएमसी), नवी मुंबई, तिरुपति और बड़ोदरा शामिल हैं।
नायडू ने उन दस शहरों की सूची भी जारी की, जो स्वच्छता के मामले में सबसे खराब हैं। कुल 434 शहरों के निचले पायदान वाले शहरों में गोंडा (उत्तर प्रदेश) 434वें स्थान पर, भुसावल (महाराष्ट्र)-433, बगहा (बिहार)-432, हरदोई (उत्तर प्रदेश)-431, कटिहार (बिहार)-430, बहराइच (उत्तर प्रदेश)-429, मुक्तसर (पंजाब)-428, अबोहर (पंजाब)-427, शाहजहांपुर (उत्तर प्रदेश)-426 और खुर्जा (उत्तर प्रदेश)-425वें स्थान पर है।
नतीजों के बारे में नायडू ने कहा कि मध्य प्रदेश, गुजरात, झारखंड, छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश ने शहरी क्षेत्रों के स्वच्छता मामले में शानदार प्रदर्शन किया है। इन राज्यों के शहरों ने 2014 के स्वच्छ सर्वेक्षण के मुकाबले बेहतर किया है।
सर्वेक्षण-2017 में मध्य प्रदेश और झारखंड के सभी शहरों ने अपने प्रदर्शन में सुधार किया है, जबकि गुजरात में राजकोट को छोड़कर बाकी शहरों की सफाई सुधरी है। विलासपुर को छोड़कर छत्तीसगढ़ के बाकी शहरों में स्वच्छता में संतोषजनक सुधार हुआ है।
स्वच्छ सर्वेक्षण की रैंकिंग में शीर्ष 50 की सूची में 14 राज्यों के शहरों को स्थान मिला है। इनमें सबसे अधिक गुजरात के 12 शहर, मध्य प्रदेश के 11 शहर, चंडीगढ़, छत्तीसगढ़, दिल्ली, झारखंड और उत्तर प्रदेश का एक-एक शहर शामिल है।
हरियाणा के फरीदाबाद ने स्वच्छता रैंकिंग में राष्ट्रीय स्तर पर सबसे ऊंची उछाल मारी है। वह 379 पायदान से 88वें स्थान पर पहुंच गया है। इसी तरह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र बनारस भी 2014 के 418वें पायदान से उछलकर इस साल 32वें स्थान पर पहुंच गया है। पिछले साल यह 65वें स्थान पर था।
नायडू ने कहा कि सर्वेक्षण के नतीजे स्वच्छता पर लोगों का फैसला है। 434 शहरों के सर्वेक्षण में कुल 37 लाख लोगों से फीडबैक लिया गया। उन्होंने कहा कि स्वच्छ सर्वेक्षण के अगले चरण में कुल 4041 नोटिफाइड शहरों और कस्बों को शामिल किया जाएगा। नतीजे घोषित करने के बाद देश के 38 शहरों को सम्मानित किया गया