मध्यप्रदेश में मुख्यमंत्री कमलनाथ और कांग्रेस महासचिव ज्योतिरादित्य सिंधिया के बीच जारी शीत युद्ध आजकप चर्चा में है। इसी बीच मंगलवार को सीएम कमलनाथ ने अपने ज्योतिरादित्य सिंधिया को लेकर जो बयान दिया है उससे उनके बीच रिश्ते सुलझने के संकेत मिले हैं।
इससे पहले सोमवार को सिंधिया ने ग्वालियर में कहा था कि मैं जनता का सेवक हूं, जनता के मुद्दों के लिए लड़ना मेरा धर्म है। सिंधिया ने कहा हमें सब्र रखना है और अगर जिन मुद्दों को हमने अपने वचनपत्र में रखा है उनको हमें पूरा करना ही होगा। अगर नहीं होगा तो हमें सड़क पर उतरना होगा।
इसी बीच भाजपा विधायक रमेश मेंदोला ने ज्योतिरादित्य सिंधिया को पत्र लिखकर उनके प्रति सहानुभूति जताते हुए मुख्यमंत्री कमलनाथ के व्यवहार की आलोचना की है।
मेंदोला ने पत्र में लिखा कि कांग्रेस का वचनपत्र याद दिलाने पर मुख्यमंत्री कमलनाथ ने सार्वजनिक तौर पर आपके साथ जो व्यवहार किया वो दुखद और पीड़ादायी है। उससे आपकी पीड़ा का अंदाजा लगाया जा सकता है।
मेंदोला ने इस पत्र के माध्यम से सिंधिया को इंदौर में भगवान हनुमान की अष्टधातु से निर्मित विराट प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा के लिए शुरू हुए समारोह में आमंत्रित भी किया है। उन्होंने लिखा है कि यह आमंत्रण पत्र शुभ भाव से प्रेरित है और इसमें राजनीति या कोई और अर्थ मत निकालिएगा।