संयुक्त राष्ट्र में भारत ने ऐसे बच्चों की बात उठाई जो युद्धग्रस्त क्षेत्र में परिस्थितिवश लड़ रहे हैं और उन्हें विदेशी आतंकवादी यानि फॉरेन टेररिस्ट फाइटर्स (FTF) कहा जाता है। भारत ने कहा है कि ऐसे बच्चों को विदेशी आतंकवादी कहना उन्हें कलंकित करना है। इससे बच्चे अमानवीय परिस्थितियों की ओर जा सकते हैं। इन कम उम्र केे बच्चों को अपने देश भेजने, पुनर्वास कार्यक्रम चलाने और उनको परिवारों से दोबारा मिलाने पर जोर दिया जाना चाहिए।

भारत के संयुक्त राष्ट्र में स्थायी उप-प्रतिनिधि के नागराज नायडू ने यह बात कही। वे ‘बच्चे और सशस्त्र संघर्ष’ विषय पर बैठक में भाग ले रहे थे। भारत ने कहा कि बच्चों के लिए एफटीएफ शब्द का इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए। संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों को ऐसे बच्चों के बारे में गंभीरता से विचार करना चाहिए। उन्होंने कहा कि इन बच्चों के सम्मान, सुरक्षा और उनके अधिकारों को सुरक्षित करने की जरूरत है।
नागराज नायडू ने कहा कि भारत मानता है कि इस समस्या पर तत्काल ध्यान देने की आवश्यकता है और सदस्य देशों को उन पर चल रहे मुकदमों, देश वापसी, पुनर्वास और मुख्य धारा में वापस लाए जाने का काम तेजी से करना चाहिए।
Live Halchal Latest News, Updated News, Hindi News Portal