रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मीडिया के खास कार्यक्रम में कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों को खालिस्तानी कहे जाने के सवाल पर कहा कि सिख मेरे बड़े भाई हैं और उन्हें खालिस्तानी कहना बर्दाश्त नहीं करूंगा. कृषि कानूनों के बारे में उन्होंने कहा कि जरूरत पड़ी तो सरकार कानूनों में संशोधन करने को तैयार है.
मीडिया के कार्यक्रम में होस्ट के साथ बातचीत में राजनाथ सिंह ने कहा, ‘मैं किसी भी सूरत में सिख भाइयों को खालिस्तानी कहा जाना बर्दाश्त नहीं करूंगा. मैं उन्हें बड़ा भाई मानता हूं. हिंदू धर्म का बड़ा भाई खालसा पंथ स्वीकार करता था.’ उन्होंने कहा, ‘देश की संस्कृति बचाने में जो योगदान सिख समुदाय का है वो भारत कभी भूल नहीं सकता. सिख समाज के प्रति मेरे मन में बड़ा सम्मान है.’
26 जनवरी को किसानों की ओर से ट्रैक्टर रैली के आयोजन पर राजनाथ सिंह ने कहा, ‘मैं समझता हूं कि इसका समाधान किसान ही सोच-विचार कर निकालें. वो गणतंत्र दिवस को किसी भी सूरत में विफल नहीं करेंगे. हमें हमारे किसान भाइयों पर पूरा विश्वास है.’ उन्होंने कहा कि किसानों की रचनात्मक सोच है. उन्होंने कहा कि हो सकता है कि वो ट्रैक्टर रैली निकालेंगे और देश का तिरंगा झंडा लहराएंगे.कृषि कानून बनाए जाने को लेकर राजनाथ सिंह ने कहा कि किसानों की आमदनी बढ़ाने को लेकर कृषि कानून बनाया गया है. मेरी किसानों से अपील कि वे सुप्रीम कोर्ट का सम्मान करें.
कोरोना वैक्सीन को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने देश के वैज्ञानिकों को बधाई दी और कहा, ‘इतनी जल्दी इन लोगों ने वैक्सीन तैयार कर ली. पीएम मोदी ने समय-समय पर वैज्ञानिकों को वैक्सीन के लिए प्रोत्साहित करते रहे हैं. जहां तक हम लोगों के वैक्सीनेशन का प्रश्न है, मैं समझता हूं कि कोविड-19 के हमारे फ्रंट वॉरियर्स का वैक्सीनेशन जब पूरा हो जाएगा. पचास साल के ऊपर के लोगों के वैक्सीनेशन का प्रॉसेस जब शुरू होगा, उस समय हम, राजनीतिक क्षेत्र में काम करने वाले लोग भी वैक्सीन लगवाएंगे.’