दुष्‍यंत चौटाला और द‍िग्विजय चौटाला को इनेलो से निलंबित करने और निष्‍कासन के बीच उनका परिवार आक्रामक हो गया

इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) में वर्चस्व को लेकर शुरू हुई पारिवारिक कलह अभी थमने का नाम नहीं ले रही है। पार्टी से निलंबित होने के बाद भी हिसार के सांसद दुष्यंत चौटाला और उनके अनुज दिग्विजय चौटाला के तेवर नरम नहीं पड़े हैं। दुष्यंत-दिग्विजय के बाद अब उनकी विधायक मां नैना चौटाला भी राजनीतिक रूप से आक्रामक हो गई हैं।

दुष्यंत की मां नैना चौटाला ने पार्टी तोड़ने में प्रयासरत 15 नेताओं के निष्कासन की मांग उठाई

नैना ने पूर्व सीएम ओमप्रकाश चौटाला का नाम लिए बिना कहा कि उनके पुत्रों को अनुशासनहीन कहना अनुचित है। उन्होंने दोनों पुत्रों को पार्टी का अनुशासित सिपाही और स्वर्गीय चौधरी देवीलाल सहित अपने पति डॉ.अजय सिंह की पदचिन्हों पर चलने वाले समर्पित कार्यकर्ता बताया। नैना यहीं नहीं रुकी, उन्होंने यह भी कहा कि पार्टी में दुष्यंत-दिग्विजय को अनुशासनहीन कहने वाले महज 15 नेता हैं। इन नेताओं को ही पार्टी से निकालने का काम होना चाहिए।

नैना ने नेता प्रतिपक्ष अभय सिंह के नजदीकी 15 नेताओं पर अप्रत्यक्ष वार करते हए कहा कि जिस दिन ये 15 स्वार्थी नेता पार्टी से निकल जाएंगे उस दिन इनेलो को राज्य में सरकार बनाने से कोई नहीं रोक सकेगा। देवर अभय सिंह पर भी आक्रामक रहीं नैनानैना चौटाला हरी चुनरी चौपाल के कार्यक्रमों में अपने भाषण पहले से कुछ अलग हटकर दे रही हैं। वे पहले पार्टी में अपने पुत्रों पर लगाए गए आरोपों का जवाब देती हैं और फिर अपने पति डॉ.अजय सिंह के पार्टी के लिए संघर्ष का भी विस्तार से जिक्र करती हैं।

नैना अपने देवर और नेता प्रतिपक्ष अभय सिंह चौटाला का नाम तो नहीं लेती मगर यह जरूर कहती हैं कि उनके पति ने तो पार्टी को मजबूत करने के लिए 600 किलोमीटर लंबी पदयात्रा की और पार्टी के लिए 40 साल लगा दिए। अब महज चार साल काम करके मुख्यमंत्री बनने की चाह पैदा हो गई जबकि 40 साल वाले नेता डॉ. अजय सिंह चौटाला ने ओमप्रकाश चौटाला के रहते ऐसी मांग नहीं की।

2 नवंबर तक शांत रहने की अपील कर रही हैं नैना चौटाला

डबवाली से इनेलो की विधायक नैना चौटाला पार्टी के प्रदेश महासचिव अजय सिंह चौटाला की पत्नी और हिसार से सांसद दुष्यंत चौटाला की मां होने के साथ ही पार्टी में हरी चुनरी चौपाल के माध्यम से बड़ी संख्या में महिलाओं को जोड़े रखने के लिए अलग पहचान रखती हैं। 7 अक्टूबर को गोहाना रैली के बाद नैना चौटाला पहली बार फील्ड में अपने पुत्रों की पैरवी करती नजर आई हैं।

नैना ने रविवार को हिसार के उकलाना और फिर बाद में घरौंडा के गगसीना गांव में हरी चुनरी चौपाल कार्यक्रम में अपने और दुष्यंत समर्थकों को स्पष्ट तौर पर कहा कि 2 नवंबर तक सभी शांत रहें। 2 नवंबर को जब डॉ.अजय सिंह चौटाला जेल से पैरोल पर बाहर आएंगे तो वे पूरे मामले की जांच इस तरह करेंगे कि दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा।

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‘चुनाव तक इनेलो का अस्तित्व खत्म हो जाएगा’

” इनेलो में चौटाला परिवार के बीच सत्ता की लड़ाई तो अब शुरू हुई है मगर मैंने दो साल पहले ही यह कह दिया था कि चुनाव से पहले इनेलो का अस्तित्व खत्म हो जाएगा। मैं हरियाणा की जनता को जानता हूं। यहां की जनता जब स्वार्थ की नीति वाले दलों और उनके नेताओं की पहचान कर लेती है तो फिर उस पार्टी को कभी गले नहीं लगाती।

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