दिवाली के दिन लक्ष्मी यंत्र के साथ कुबेर यंत्र की पूजा करने से घर में धन से जुड़ी समस्याओं से छुटकारा मिलता है। लेकिन इन यंत्र की पूजा सही विधि के साथ करना बेहद जरूरी है। तो आइए जानते हैं लक्ष्मी या कुबेर यंत्र की पूजा विधि के बारे में।
इस साल दीपों का उत्सव दीपावली का त्यौहार 12 नवंबर को मनाया जाएगा। हर साल कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि को दिवाली मनाई जाती है। इस दिन माता लक्ष्मी, भगवान गणेश की पूजा का विधान है। इसके अलावा माता सरस्वती, मां काली और कुबेर जी की भी पूजा की जाती है। कहा जाता है कि दिवाली के दिन मां लक्ष्मी पृथ्वी पर भ्रमण करती हैं और जिस भक्त से प्रसन्न होती हैं उनपर अपनी कृपा बरसाती हैं। ऐसे में धन की देवी लक्ष्मी की प्रसन्न करने लिए लोग तरह-तरह के उपाय करते हैं। इसमें घर सजाने से लेकर पूजा विधि तक शामिल है।
मां लक्ष्मी साफ-सुथरे और सुंदर घर के साथ खुशहाल परिवार से भी अत्यंत आकर्षित होती हैं, इसलिए दिवाली के दिन क्लेश से दूर रहे और घर को व्यवस्थित रखें। इसके अलावा लक्ष्मी पूजा यानी दिवाली की रात कुबेर यंत्र और लक्ष्मी यंत्र की पूजा जरूर करें। तो आइए जानते हैं कि इन दोनों यंत्रों की सही पूजा विधि क्या है।
लक्ष्मी यंत्र की पूजा विधि
धनतेरस पर खरीदे गए लक्ष्मी यंत्र को आज शाम को दिवाली पूजा के समय मां लक्ष्मी के सामने रखिए। अगर आप किसी कारणवश धनतेरस के दिन यंत्र न ले पाए हों, तो आज भी ले सकते हैं। इस यंत्र को देवी मां के सामने रखकर लक्ष्मी पूजा के साथ ही इसकी भी विधिवत धूप-दीप आदि से पूजा करें और यंत्र को सिद्ध करने के लिए लक्ष्मी जी के मंत्र का जप करें। मंत्र है- ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद श्रीं ह्रीं श्रीं महालक्ष्म्यै नमः। लेकिन अगर आपको इस मंत्र का जप करने में कठिनाई महसूस हो, तो केवल ‘श्रीं ह्रीं श्रीं’ मंत्र का जप कीजिये। क्यूंकि देवी मां का एकाक्षरी मंत्र तो ‘श्रीं’ ही है।
साथ ही ध्यान रहे कि लक्ष्मी के मंत्र जप के लिए स्फटिक की माला को सर्वोत्तम बताया गया है। कमलगट्टे की माला को भी उत्तम बताया गया है, लेकिन अगर ये दोनों न हो तो रुद्राक्ष की माला पर भी जप कर सकते हैं। इस प्रकार आज दिवाली के दिन सिद्ध किये गये लक्ष्मी यंत्र को स्थापित करने से मां लक्ष्मी की कृपा से आपकी धन की तिजोरियां हमेशा भरी रहेंगी और आपके बिजनेस की आर्थिक स्थिति अच्छी होगी।
इस तरीके से करें कुबेर यंत्र की पूजा
आज शाम को दिवाली पूजा के समय लकड़ी के पाटे पर कुबेर यंत्र भी रखिए और उसकी विधि-पूर्वक प्राण-प्रतिष्ठा करके पूजा कीजिए। साथ ही मंत्रमहार्णव में दिए कुबेर जी के 16 अक्षरों के मंत्र का जप कीजिये। मंत्र है- ‘ऊँ श्री ऊँ ह्रीं श्री ह्री क्लीं श्री क्लीं वित्तेश्वराय नमः।’ आज इस मंत्र का कम से कम 51 हजार बार जप करके यंत्र को सिद्ध कीजिए और अपने घर में स्थापित कीजिए। आज ऐसा करने से आपके घर से धन संबंधी सारी परेशानियां दूर होंगी और धन की वर्षा होगी।