दिल्ली में कोरोना वायरस के मामलों को लेकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की. अरविंद केजरीवाल ने कहा कि केंद्र सरकार के फॉर्मूले के हिसाब से 15 जुलाई तक दिल्ली में सवा दो लाख केस होने थे, लेकिन सरकार के प्रयास के कारण आज दिल्ली में काफी कम केस हैं. अब दिल्ली में सिर्फ 18 हजार मामले एक्टिव हैं.

अरविंद केजरीवाल ने कहा कि अनुमान के मुताबिक, आज दिल्ली में 1.34 लाख एक्टिव केस होने थे जबकि 34 हजार बेड की जरूरत थी. जबकि आज दिल्ली में सिर्फ 18 हजार एक्टिव केस हैं और 4 हजार बेड की जरूरत है. सरकार की ओर से 15 हजार बेड का इंतजाम किया गया है.
आपको बता दें कि जून महीने में ऐसा अंदाजा लगाया गया था कि जुलाई के अंत तक दिल्ली में साढ़े पांच लाख केस हो सकते हैं, जिसके बाद केंद्र की ओर से दिल्ली में दखल दिया गया था.
दिल्ली सीएम ने कहा कि राज्य और केंद्र सरकार की कोशिशों के कारण आज दिल्ली में मामले कम हैं. हमने तीन सिद्धांतों पर फोकस किया और विपक्ष की पार्टियों को भी साथ लिया. अरविंद केजरीवाल बोले कि हमारी जितनी कमियां निकाली गईं, हमने उन्हें ठीक किया.
प्रेस कॉन्फ्रेंस में अरविंद केजरीवाल बोले कि दिल्ली में होम आइसोलेशन के दौरान सरकार ने बेहतर सुविधा दी, मेडिकल टीम मरीज को फोन करती है.
अब सरकार ऑक्सीमीटर मुहैया कराती है, साथ ही काउंसिलिंग करती थी. सीएम ने कहा कि पहले लोगों को डर था कि पॉजिटिव आए तो कहीं क्वारनटीन सेंटर में नहीं भेज दिया जाए, होम आइसोलेशन की वजह से लोग बिना डरे टेस्ट करवाने के लिए सामने आए.
कोरोना के मामलों को लेकर दिल्ली सीएम ने कहा कि अब दिल्ली में मौत के आंकड़े बेहद कम हुए हैं, जून में एक दिन में 100 से ऊपर मौत हुईं, लेकिन अब 30 से 35 मौत हो रही हैं. सरकार की ओर से अधिक टेस्टिंग पर जोर दिया जा रहा है, ताकि बीमारी का पता लग सके.
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