मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कोरोना डेडिकेटेड अस्पतालों में सीनियर डॉक्टरों को रोजाना वार्ड में जाने के निर्देश जारी किए हैं।
उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा है कि डॉक्टर कोरोना से जूझ रहे मरीजों को सर्वोत्तम इलाज दें। इलाज में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा है कि इलाज में लापरवाही सामने आने पर दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
मुख्यमंत्री ने मंत्रालय में वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए सूबे में कोरोना मरीजों को लेकर व्यवस्थाओं की समीक्षा के दौरान ये बातें कहीं। उन्होंने कहा कि भोपाल स्थित सरकारी हमीदिया अस्पताल को कोरोना मरीजों के इलाज में आदर्श अस्पताल की भूमिका अदा करना चाहिए और मृत्यु दर कम करने की कोशिश करनी चाहिए।
उन्होंने सूबे के अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य मोहम्मद सुलेमान को निर्देश दिया कि हमीदिया में इलाज की रोजाना रिपोर्ट उनके सामने पेश की जाए।
बता दें कि राजस्थान की सीमा से लगे मध्य प्रदेश के नीमच जिले में अब तक 199 लोग कोरोना से संक्रमित पाए गए हैं। इनमें से 42 नए मामले अकेले शनिवार को ही सामने आए।
नीमच जिले में अब तक 54 मरीज स्वस्थ हुए हैं जबकि चार की मौत हुई है। मध्य प्रदेश में अब तक कुल 7,891 लोग कोरोना संक्रमित पाए गए हैं जिनमें से 343 की मौत हो गई है जबकि 4,444 मरीज स्वस्थ भी हुए हैं।