कोरोना महामारी से निपटने के साथ ही उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश की आर्थिक संरचना को मजबूत करने की कार्ययोजना तैयार कर ली है।

इसी के तहत आज योगी सरकार ने ऋण मेले की शुरूआत करते हुए सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योगों (एमएसएमई) से जुड़े उद्यमियों को एक क्लिक पर लोन दिया।
इस दौरान मुख्यमंत्री योगी ने एमएसएमई उद्यमियों का हौसला बढ़ाते हुए आने वाले दिनों में चीनी बाजार पर अपनी निर्भरता कम करने के संकेत दिए। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि इस बार दीपावली के अवसर पर चीन से गौरी-गणेश की मूर्तियां नहीं आएंगी।
गोरखपुर का टेराकोटा चीन से ज्यादा अच्छे उत्पाद तैयार करता है। फिर ऐसी स्थिति में हम चीन से मूर्तियां और दीये क्यों आयात करेंगे।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि हम गोरखपुर के टेराकोटा को डिजाइन देंगे और उसके अनुसार वे उत्पाद तैयार करेंगे। उन्होंने कहा कि अयोध्या में आयोजित पहले दीपोत्सव में 51,000 दीप प्रज्ज्वलित किए गए थे। यह मिट्टी के दीपक, हमें पूरे उत्तर प्रदेश में ढूंढ़ने पड़े थे तब हमें 51,000 दीपक मिल पाए थे।
इस बार हम अपनी क्षमता बढ़ाएंगे ताकि चीन से दीये न खरीदने पड़ें। मालूम हो कि केंद्र द्वारा की गई आर्थिक पैकेज की घोषणा के 24 घंटे के भीतर ही मुख्यमंत्री योगी ने यूपी में एमएसएमई सेक्टर के 56,754 उद्यमियों को एकमुश्त दो हजार से लेकर दो करोड़ तक के लोन बांटे।
केंद्र से आर्थिक पैकेज एलान के बाद यूपी पहला राज्य है जिसने लॉकडाउन अवधि में भी इतनी बड़ी धनराशि का लोन दिया है।
मुख्यमंत्री योगी ने गुरुवार को एक क्लिक पर ऑनलाइन दो हजार से लेकर दो करोड़ रुपये के लोन देकर रोजगार संगम ऑनलाइन मेला की व्यापक शुरूआत की।
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