हमेशा यह बताया जाता है कि अपने बैंक खाते की जानकारी और पासवर्ड को किसी दूसरे वित्तीय एप या किसी फोन कॉल पर साझा न करें। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने भी ईपीएफ सदस्यों को फोन पर दूसरों के साथ अपने विवरण साझा नहीं करने के लिए कहा है। यह अलर्ट ईपीएफओ की वेबसाइट पर प्रमुखता से दिखाया जा रहा है।
इन बातों का रखें ध्यान
अपने संदेश में भविष्य निधि संगठन ने कहा है कि ईपीएफओ आपसे कभी भी अपने व्यक्तिगत विवरण जैसे आधार, पैन, यूएएन, बैंक विवरण आदि को फोन पर साझा करने के लिए नहीं कहता है। ईपीएफओ कभी भी किसी सदस्य या ग्राहक को कॉल नहीं करता है। कृपया इस तरह के फर्जी कॉल का जवाब न दें।
EPFO ने सदस्यों को दी चेतावनी
बता दें कि अबतक मुख्य रूप से बैंक और अन्य वित्तीय संस्थान ही अपने ग्राहकों को ओटीपी, डेबिट या क्रेडिट कार्ड और अन्य व्यक्तिगत विवरणों को किसी के साथ साझा नहीं करने की चेतावनी दे रहे थे। क्योंकि कई शातिर हैकर्स बैंक कर्मचारियों के रूप में फोन कर ग्राहकों से धोखाधड़ी करने में लगे थे। अब EPFO ने भी अपने सदस्यों को इसी तरह की चेतावनी जारी की है।
इस तरह से हो रही धोखाधड़ी
यह संभव है कि फोन करने वाले फ्रॉड खुद को ईपीएफओ के अधिकारियों के रूप में प्रस्तुत कर रहे हों और ईपीएफ ग्राहकों को अपना ईपीएफ खाता विवरण साझा करने के लिए कह रहे हों।
पीएफ खाते से भी मिलता है लोन
बता दें कि पीएफ खाते से आप लोन भी ले सकते हैं। पीएफ खाते से मकान खरीदने के दो विकल्प होते हैं। पहला ईपीएफओ की हाउसिंग स्कीम के तहत और दूसरा खाते से आंशिक निकासी कर। सरकारी या निजी क्षेत्र के हर कर्मचारी के पास पीएफ खाता होता है। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने कानून में संशोधन कर 12 अप्रैल, 2017 को अपने सदस्यों के लिए हाउसिंग स्कीम का प्रावधान लागू किया। इसका फायदा ईपीएफओ के करीब छह करोड़ सदस्य उठा सकते हैं। इसके तहत मकान खरीदने, बनाने या प्लॉट खरीदने के लिए कर्मचारी अपने फंड से 90 फीसदी राशि निकाल सकते हैं।