1992, 1996, 1999, 2003, 2011, 2015 और 2019…ये साल भले ही बदलते गए, लेकिन भारत और पाकिस्तान के बीच विश्व कप में होने वाले मुकाबलों का निर्णय नहीं बदला।
पिछली छह बार की तरह इस बार भी भारतीय टीम ने उमड़ते- घुमड़ते बादलों के बीच भारतीय दर्शकों से खचाखच भरे ओल्ड ट्रैफर्ड स्टेडियम में पाकिस्तान को डकवर्थ-लुइस नियम के आधार पर 89 रनों से हराकर इस विश्व कप में तीसरी जीत हासिल की। भारत ने इससे पहले दक्षिण अफ्रीका और ऑस्ट्रेलिया को पराजित किया, जबकि न्यूजीलैंड के खिलाफ मुकाबला बारिश के कारण रद हो गया था। विराट सेना की अगली भिड़ंत अब शनिवार को अफगानिस्तान से होगी।
हर विभाग शानदार- भारतीय टीम ने पहले रोहित शर्मा के शतक (140) और विराट कोहली (77) व केएल राहुल (57) के अर्धशतकों की बदौलत पांच विकेट पर 336 रन बनाए और उसके बाद पाक को 40 ओवरों में 212/6 पर सीमित कर दिया। पाकिस्तान ने 35 ओवर में छह विकेट पर 166 रन बना लिए थे, लेकिन तभी बारिश आई और उसके बाद जब मैच शुरू हुआ तो अंपायरों ने उसे डकवर्थ-लुइस नियम के आधार पर 40 ओवरों में 302 रनों का लक्ष्य दिया। पाक को आखिरी 30 गेंदों पर 136 रन बनाने थे, जो वह नहीं बना सकी। भारत की ओर से कुलदीप, हार्दिक और विजय शंकर ने दो-दो विकेट लिए।
रोहित-राहुल की शानदार साझेदारी- पूर्व कप्तान और पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान की ट्विटर पर दी गई पहले बल्लेबाजी करने की सलाह को दरकिनार करते हुए कप्तान सरफराज अहमद ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का निर्णय किया। लेकिन भारतीय ओपनरों ने 136 रनों तक कोई विकेट नहीं गिरने दिया।
रोहित का जलवा- भारत ने पहले खेलते हुए इस मैदान का और इंग्लैंड में पाकिस्तान के खिलाफ सबसे बड़ा स्कोर बनाया। रोहित ने इस विश्व कप में दूसरा, इंग्लैंड में चौथा और करियर का 24वां शतक बनाया। वह विश्व कप में पाक के खिलाफ शतक लगाने वाले दूसरे भारतीय बल्लेबाज बने। विराट कोहली ने 2015 विश्व कप में पाक के खिलाफ 107 रनों की पारी खेली थी।
विश्व कप में भारत की पाकिस्तान पर सात जीत-
-1992 विश्व कप में तेंदुलकर के नाबाद 54 रनों की मदद से सात विकेट से जीत
-1996 विश्व कप में क्वार्टर फाइनल में सिद्धू के 93 रनों की बदौलत 39 रनों से विजय
-1999 विश्व कप में वेंकटेश के पांच विकेट की मदद से 47 रनों की जीत
-2003 विश्व कप में सचिन के 98 रनों की बदौलत छह विकेट से जीत
-2011 विश्व कप के सेमीफाइनल में तेंदुलकर के 85 रनों की बदौलत 29 रनों से जीत
-2015 विश्व कप में विराट (107) के शतक के दम पर 76 रनों की जीत
-2019 विश्व कप मे रोहित शर्मा (140) के शतक की बदौलत 89 रनों से जीत
राहुल ने धवन की कमी नहीं खलने दी- राहुल को शिखर धवन के चोट के कारण पाकिस्तान के खिलाफ ओपनिंग करने का मौका मिला। 17वां वनडे खेल रहे राहुल ने इस मौके को भुनाया ही। वह भारत के लिए ओपनिंग करते हुए इससे पहले ज्यादा रन नहीं बना पाए थे, इसलिए उन्हें मध्य क्रम में भेजा जा रहा था, लेकिन धवन के ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैच में चोटिल हो जाने के कारण उन्हें फिर ओपनिंग का मौका मिला। हालांकि, वह घरेलू क्रिकेट में जीवन भर ओपनिंग ही करते आए हैं। उन्होंने इस मैच में मुहम्मद आमिर के खिलाफ सधी शुरुआत की और पहली छह की छह गेंद आराम से खेलीं। यह ओवर मेडन गया। उन्होंने 22वें ओवर में शोएब मलिक की गेंद पर मिडविकेट पर छक्का मारकर अपने वनडे करियर का तीसरा अर्धशतक पूरा किया। उन्होंने हफीज के अगले ओवर में ही बाहर निकलते हुए मिडविकेट पर फिर एक बेहतरीन छक्का लगाया। वह वहाब के ओवर में 57 रन बनाकर आउट हो गए।
आमिर को चेतावनी मिली अंपायर से मैनचेस्टर- इस मैच में सबकी निगाहें सट्टेबाजी में पांच साल का प्रतिबंध झेलने वाले पाकिस्तानी गेंदबाज आमिर पर थीं। हालांकि उन्हें अपने दूसरे और पारी के तीसरे ओवर में ही अंपायर ऑक्सनफोर्ड की तरफ से डेंजर एरिया में पैर रखने के कारण चेतावनी मिली। आमिर को उनके तीसरे ओवर में फिर अंपायर से चेतावनी मिली। अगर उन्हें तीसरी चेतावनी मिलती तो वह मैच में गेंदबाजी नहीं कर पाते, लेकिन उन्होंने बाद में खुद को इससे बचा लिया। इसके बाद पाकिस्तान के दूसरे तेज गेंदबाज वहाब रियाज को भी पिच के डेंजर एरिया में कदम रखने के लिए चेतावनी मिली। पिच के बीच में गेंदबाज के जाने से पिच खराब होती है। वहाब ने इसके बाद ओवर द विकेट की जगह राउंड द विकेट गेंदबाजी की और एक गेंद बाद ही उन्हें केएल राहुल का विकेट मिल गया।
पाकिस्तान ने मौका गंवाया रन आउट का – मैच के 10वें ओवर में ही पाकिस्तान के पास रोहित को आउट करने का मौका था, लेकिन सरफराज की टीम ने उसे गंवा दिया। राहुल ने शॉट मारा और रोहित दूसरे रन की ओर भागे। वह आधी क्रीज पार कर गए थे, लेकिन पाकिस्तान क्षेत्ररक्षक ने बल्लेबाजी छोर की जगह गेंदबाजी छोर की तरफ थ्रो किया, जिससे रोहित बच गए और उसके बाद उन्होंने विपक्षी टीम की बखिया उधेड़ दीं। रोहित के आउट होने के बाद पिछले मैच की ही तरह इस बार भी हार्दिक को चौथे नंबर पर उतारा गया। उन्होंने दो चौके और एक छक्का मारा। भारत ने 40 ओवर में 248 रन बना लिए थे। 42.2 ओवर में पांड्या का ऊपरी किनारा लगकर गेंद छक्के के लिए विकेट के पीछे गई। पांड्या इतनी तेज शॉट मारते हैं कि गेंद किनारा लेकर भी छक्के के लिए चली जाती है। उन्होंने इसी ओवर की चौथी गेंद पर फाइन लेग पर चौका लगाया। वह आमिर की गेंद पर हेलीकॉप्टर शॉट मारने के चक्कर में लांग ऑन में लपके गए। गेंद उनके बल्ले में ढंग से आई नहीं।
आमिर बनाम विराट मैनचेस्ट- आमिर ने 2017 चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल में विराट को दो बार आउट किया था, जिसमें से एक नो बॉल थी। उस मैच में विराट को पहले ओवर में ही उतरना पड़ा था, लेकिन यहां पर विराट इस गेंदबाज के सामने परेशान नहीं हुए। 29वें ओवर में दोनों का आमना सामना हुआ। इस ओवर में एक गेंद विराट के बल्ले के पास से निकली जिसके बाद आमिर ने उनसे हंसते हुए कुछ कहा, लेकिन उन्होंने 31वें ओवर की दूसरी गेंद पर आमिर पर कवर और मिड ऑफ के बीच में चौका मारा। 44वें ओवर में विराट ने आमिर पर मिड ऑफ पर एक और चौका मारा। विराट आउट थे या नहीं : 48वें ओवर की चौथी गेंद पर वह इसी गेंदबाज का शिकार हुए। आमिर ने विराट को एक तेज बाउंसर मारी। विराट इसे फाइन लेग पर मारना चाह रहे थे, लेकिन गेंद विकेटकीपर के हाथ में चली गई। विराट अंपायर के इशारे से पहले ही पवेलियन की ओर चल दिए। वह आउट नहीं थे।