हाईकोर्ट द्वारा जारी पत्र में कहा गया है कि सांसदों और विधायकों पर किस धारा के तहत, किस पुलिस स्टेशन व किसी तिथि को मामला दर्ज किया गया है यह ब्योरा सौंपा जाए। हाईकोर्ट द्वारा मांगी गई इस जानकारी को सुप्रीम कोर्ट में केंद्र द्वारा लिए गए स्टैंड से जोड़कर देखा जा रहा है जिसमें केंद्र सरकार ने कहा था कि दागी सांसदों और विधायकों के खिलाफ लंबित आपराधिक मामलों के जल्द निपटारे के लिए सरकार 12 स्पेशल कोर्ट का गठन करेगी।
सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार ने हलफनामा दायर कर बताया था कि एक साल में इनका गठन होगा। इसके लिए सरकार ने योजना तैयार कर ली है और वित्त मंत्रालय से इसकी मंजूरी भी मिल गई है। हालांकि सुप्रीम कोर्ट में केंद्र ने कहा था कि कितने सांसद और विधायकों के खिलाफ मामले लंबित हैं इसके आकलन के लिए और समय दिया जाए।