आषाढ़ गुप्त नवरात्र की अष्टमी तिथि को करें मां गौरी के इन नामों का जाप

इस साल आषाढ़ मास की गुप्त नवरात्र की शुरुआत 6 जुलाई 2024 दिन शनिवार को हुई है। वहीं इसका समपान 15 जुलाई 2024 को होगा। इस दौरान भक्त मां दुर्गा की 10 महाविद्याओं की पूजा करते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस समय मां की पूजा करने से सभी संकटों का नाश होता है। साथ ही घर में शुभता आती है।

आषाढ़ गुप्त नवरात्र हर साल उत्साह और धूमधाम के साथ मनाई जाती है। यह पर्व देवी भक्तों के लिए विशेष महत्व रखता है। इस अवधि के दौरान, भक्त देवी दुर्गा के 10 महाविद्याओं की पूजा करते हैं। साथ ही उनके लिए व्रत रखते हैं। मान्यताओं के अनुसार, तंत्र साधना के लिए यह समय बेहद खास होता है। वहीं, 14 जुलाई को आषाढ़ गुप्त नवरात्र की अष्टमी तिथि है, जिसमें जगत जननी आदिशक्ति के लिए भक्त कन्या पूजन, हवन जैसे पूजा अनुष्ठान करते हैं।

इसके साथ इस पावन समय में मां पार्वती के 108 नामों का जाप भी बहुत शुभ माना जाता है, तो आइए इसका पाठ करते हैं –

।।मां पार्वती के 108 नाम।।

आद्य
आर्या
अभव्या
अएंदरी
अग्निज्वाला
अहंकारा
अमेया
अनंता
अनेकशस्त्रहस्ता
अनेकास्त्रधारिणी
अनेकावारना
अपर्णा
अप्रौधा
बहुला
बहुलप्रेमा
बलप्रदा
भाविनी
भव्य
भद्राकाली
भवानी
भवमोचनी
भवप्रीता
भव्य
ब्राह्मी
ब्रह्मवादिनी
बुद्धि
बुध्हिदा
चामुंडा
चंद्रघंटा
चंदामुन्दा विनाशिनी
चिन्ता
चिता
चिति
चित्रा
चित्तरूपा
दक्शाकन्या
दक्शायाज्नाविनाशिनी
देवमाता
दुर्गा
एककन्या
घोररूपा
ज्ञाना
जलोदरी
जया
कालरात्रि
किशोरी
कलामंजिराराजिनी
कराली
कात्यायनी
कौमारी
कोमारी
क्रिया
क्र्रूना
लक्ष्मी
महेश्वारी
मातंगी
मधुकैताभाहंत्री
महाबला
महातपा
महोदरी
मनः
मतंगामुनिपुजिता
मुक्ताकेशा
नारायणी
निशुम्भाशुम्भाहनानी
महिषासुर मर्दिनी
नित्या
पाताला
पातालावती
परमेश्वरी
पत्ताम्बरापरिधान्ना
पिनाकधारिणी
प्रत्यक्ष
प्रौढ़ा
पुरुषाकृति
रत्नप्रिया
रौद्रमुखी
साध्वी
सदगति
सर्वास्त्रधारिणी
सर्वदाना वाघातिनी
सर्वमंत्रमयी
सर्वशास्त्रमयी
सर्ववाहना
सर्वविद्या
सती
सत्ता
सत्य
सत्यानादास वरुपिनी
सावित्री
शाम्भवी
शिवदूती
शूलधारिणी
सुंदरी
सुरसुन्दरी
तपस्विनी
त्रिनेत्र
वाराही
वैष्णवी
वनदुर्गा
विक्रम
विमलौत्त्त्कार्शिनी
विष्णुमाया
वृधामत्ता
यति
युवती।

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