नए कृषि कानून के खिलाफ हो रहे किसान आंदोलन के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार को 11 बजे अपने रेडियो कार्यक्रम मन की बात के जरिए देश को संबोधित करेंगे। ऐसी उम्मीद जताई जा रही है कि प्रधानमंत्री मोदी कृषि कानूनों और इससे जुड़े मुद्दों पर बात कर सकते हैं। यह इस साल का उनके रेडियो कार्यक्रम की श्रृंखला का आखिरी कार्यक्रम होगा।
संसद द्वारा पारित तीन कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले एक महीने से दिल्ली की सीमाओं पर किसान आंदोलन कर रहे हैं। वे सरकार से इन कानूनों को वापस लेने की मांग कर रहे हैं जबकि सरकार का कहना है कि वह कुछ संशोधन करने के लिए तैयार है। ऐसे में प्रधानमंत्री इन कानूनों पर सरकार की ओर से किए गए प्रयासों और उपायों की जानकारी देने के अलावा अपने विचार रख सकते हैं।
वहीं दूसरी ओर किसानों ने पीएम मोदी के मन की बात कार्यक्रम का ताली और थाली बजाकर विरोध करने का फैसला लिया है। कुछ किसान संगठनों ने पहले ही कहा था कि वह इस कार्यक्रम का विरोध करेंगे। शनिवार को आंदोलनकारी किसानों ने बातचीत की सरकार की पेशकश को स्वीकार कर लिया। 40 किसान यूनियनों के मुख्य संगठन संयुक्त किसान मोर्चा की एक बैठक में यह फैसला किया गया।
इसकी घोषणा किसान नेताओं की तरफ से प्रेस कॉन्फ्रेंस करके की गई। सरकार से बातचीत के लिए किसान नेताओं ने 29 दिसंबर को सुबह 11 बजे का समय निर्धारित किया है। जगह के तौर पर दिल्ली के विज्ञान भवन को चुना गया है। इससे पहले सरकार ने किसानों से बातचीत की अपील करते हुए अपनी पसंद की जगह और समय तय करने को कहा था।